खेलो इंडिया योजना से भागलपुर में अंतर्राष्ट्रीय फुटबॉल स्टेडियम बनेगा। इसको लेकर खेल विभाग ने न्यूनतम 115 मीटर गुना 95 मीटर मैदान चिह्नित कर प्रस्ताव मांगा है। खेल विभाग के प्रधान सचिव ने डीएम से जमीन चयन कर रिपोर्ट मांगी है। विभाग से मांगे गए प्रस्ताव को लेकर जिला खेल पदाधिकारी ने नवगछिया और कहलगांव एसडीओ को पत्र दिया है।
जिला खेल पदाधिकारी जयनारायण कुमार ने बताया कि भागलपुर में खेल का माहौल विकसित करने, खिलाड़ियों को अभ्यास और राष्ट्रीय एवं अंतर्राष्ट्रीय स्तर की प्रतियोगिता के लायक तैयार करने के लिए फुटबॉल स्टेडियम बनाया जाना है।
2017 में योजना शुरू
वर्ष 2017-18 में पारंपरिक भारतीय खेलों की लोकप्रियता को पुनर्जीवित करने के लिए ‘खेलो इंडिया’ योजना की शुरुआत की गई। इसके तहत ग्रामीण इलाकों से भी बेहतर खिलाड़ियों को तराशने के लिए आधारभूत संरचना उपलब्ध कराने का निर्णय लिया गया।
“खेलो इंडिया योजना” (Khelo India Yojana) भारत सरकार द्वारा खेल और युवा मामलों के मंत्रालय के तहत शुरू की गई एक महत्वाकांक्षी योजना है। इसका मुख्य उद्देश्य देश में खेल संस्कृति को बढ़ावा देना और खेल प्रतिभाओं को पहचान कर उन्हें पोषित करना है। इस योजना का लक्ष्य भारत को एक खेल महाशक्ति के रूप में स्थापित करना है।
योजना के मुख्य तत्व इस प्रकार हैं:
1. **खेल इन्फ्रास्ट्रक्चर का विकास**: योजना के अंतर्गत देशभर में खेल सुविधाओं और इन्फ्रास्ट्रक्चर का निर्माण किया जाएगा।
2. **खिलाड़ियों की पहचान और प्रशिक्षण**: प्रतिभाशाली खिलाड़ियों को खोज कर उन्हें उच्च गुणवत्ता का प्रशिक्षण प्रदान किया जाएगा।
3. **स्कूल और कॉलेज स्तर पर खेलों को प्रोत्साहन**: स्कूलों और कॉलेजों में खेल गतिविधियों को बढ़ावा दिया जाएगा।
4. **विभिन्न खेलों के लिए प्रतियोगिताओं का आयोजन**: राष्ट्रीय स्तर पर खेल प्रतियोगिताओं का आयोजन किया जाएगा ताकि खिलाड़ियों को प्रदर्शन का मौका मिले।
5. **खेल विज्ञान और चिकित्सा सहायता**: खिलाड़ियों को खेल विज्ञान और चिकित्सा सहायता प्रदान की जाएगी।
6. **वित्तीय सहायता**: चयनित खिलाड़ियों को आर्थिक सहायता दी जाएगी ताकि वे बिना किसी वित्तीय बाधा के अपने खेल को जारी रख सकें।
खेलो इंडिया योजना का उद्देश्य न केवल खिलाड़ियों का विकास करना है बल्कि देश में खेलों के प्रति रुचि और जागरूकता भी बढ़ाना है। इसके अंतर्गत विभिन्न आयु वर्ग के खिलाड़ियों के लिए अलग-अलग कार्यक्रम चलाए जाते हैं और उन्हें उचित मार्गदर्शन और समर्थन प्रदान किया जाता है।