उफान पर बिहार की नदियां, नीचले हिस्सों में घुसने लगा पानी
नेपाल के जलग्रहण क्षेत्र में बारिश के बाद कोसी नदी का जलस्तर बढ़ना जारी है। सुपौल, खगड़िया, कटिहार जिले में कोसी नदी के जलस्तर में मंगलवार को वृद्धि दर्ज की गई। वहीं अररिया में अचानक बकरा नदी में उफान से आधा दर्जन गांवों के निचले इलाकों में बाढ़ का पानी फैल गया है। कटिहार में महानंदा नदी के जलस्तर में गिरावट दर्ज की गई है।
सुपौल में कोसी के जलस्तर में वृद्धि होने की रफ्तार जारी है। हालांकि जलस्तर बढ़ने को लेकर पूर्वी और पश्चिमी तटबंध पर जल संसाधन विभाग के इंजीनियरों ने चौकसी बढ़ा दी है। कोसी का जलस्तर कोसी बराज पर मंगलवार शाम चार बजे दो लाख 21 हजार 460 क्यूसेक डिस्चार्ज रिकॉर्ड किया गया जो बढ़ने की स्थिति में है।मुख्य अभियंता ई वरुण कुमार ने बताया कि सभी स्पर व तटबंध पूरी तरह से सुरक्षित है।
खगड़िया जिले में कोसी व बागमती नदी के जलस्तर में लगातार उफान जारी है। मंगलवार को बलतारा में कोसी नदी के जलस्तर में आठ सेंटीमीटर की वृद्धि दर्ज की गई। वही संतोष स्लूइस गेट के पास बागमती नदी में चार सेंटीमीटर की पिछले 24 घंटे में वृद्धि हुई। जल संसाधन विभाग के कार्यपालक अभियंता कृपाल चौधरी ने बताया कि शिशवा गांव में बंबू पाइलिंग व वृक्षों की टहनियों को डालकर कटाव निरोधक कार्य जोर शोर से किया जा रहा है। जलस्तर बढ़ने को लेकर अभियंताओं की टीम पूरी स्थिति पर निगरानी रख रही है।
इधर अररिया में पलासी प्रखंड होकर बहने वाली बकरा नदी अचानक उफना गयी। इस कारण उफनाई बकरा नदी का पानी धर्मगंज और पिपरा बिजवार पंचायत के आधा दर्जन से अधिक गांव के निचले इलाकों में फैल गया। इधर पलासी सीओ सुशील कान्त सिंह ने बताया कि प्रभावित क्षेत्रों में उनकी पैनी नजर है। उनके व हल्का कर्मचारियों द्वारा इन क्षेत्रों का निरीक्षण किया जा रहा है।
कटिहार में दोपहर बाद से महानंदा नदी के जलस्तर में गिरावट दर्ज की गई है ’ नदी के अपस्ट्रीम में पांच सेंटीमीटर की गिरावट दर्ज की गई है जबकि डाउनस्ट्रीम में जलस्तर स्थिर है ’ बाढ़ नियंत्रण विभाग के अधीक्षण अभियंता दीपक कुमार ने कहा कि महानंदा नदी का जलस्तर अभी चेतावनी स्तर से ऊपर है ’ लेकिन खतरे के निशान से नीचे है ’ उन्होंने कहा कि गंगा और कोसी नदी के जलस्तर में 10 सेंटीमीटर की बढ़ोतरी दर्ज की गई है।
नदियों के जलग्रहण क्षेत्र में लगातार हो रही बारिश से मंगलवार को कमला और बागमती समेत उत्तर बिहार की कई नदियों का जलस्तर खतरे के निशान को पार कर गया।
मधुबनी के जयनगर में कमला खतरे के निशान से 55 सेंटीमीटर और झंझारपुर में कमला बलान डेढ़ मीटर ऊपर बह रही है। सीतामढ़ी के कटौझा में बागमती 75 सेंटीमीटर और सुंदरपुर में अधवारा नदी 55 सेंटीमीटर ऊपर बह रही है। पूर्वी व पश्चिम चंपारण, मुजफ्फरपुर, दरभंगा और समस्तीपुर में भी नदियों के जलस्तर में वृद्धि हुई है। नदियों में पानी बढ़ने से जयनगर के निचले इलाकों में मौसमी फल व सब्जियों के खेत डूब गये हैं। वहीं, सीतामढ़ी के बेलसंड, सुप्पी, बैरगनिया, रुन्नीसैदपुर आदि क्षेत्र में तटबंध के भीतर निचले इलाकों में फैल गया है। मधुबनी के जयनगर में कमला नदी का पानी बढ़ने से बराज निर्माण का काम बाधित हो गया है। झंझारपुर में जल संसाधन विभाग अलर्ट मोड में तटबंधों की निगरानी कर रहा है।
सीतामढ़ी के सोनबरसा में पानी के तेज बहाव के कारण बांके नदी पर बने पुल का पाया टूट गया है। इस कारण पुल से वाहनों का गुजरना मुश्किल हो गया है। लोगों का कहना है कि वाहनों के गुजरने पर हादसा हो सकता है। यह पुल पुरन्दाहा, राजबाड़ा से दलकावा, नरकटिया व इंदरवा जानेवाली सड़क में अधवारा समूह की बांके नदी पर है। ग्रामीण, बिल्टू लाल, अशोक मिश्र, सत्येन्द्र मिश्र आदि ने बताया कि प्रखंड मुख्यालय सोनबरसा जाने की यह सड़क है।
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