कर्नाटक के मुख्यमंत्री सिद्धारमैया ने राज्य में हुए एक बड़े घोटाले की बात कबूली
कर्नाटक के मुख्यमंत्री सिद्धारमैया ने राज्य में हुए एक बड़े घोटाले की बात कबूल कर ली है। दरअसल, मुख्यमंत्री ने सोमवार को सदन में स्वीकार कर लिया कि कर्नाटक महर्षि वाल्मीकि एसटी विकास निगम में 89.6 करोड़ रुपये का घोटाला हुआ है। उधर राज्य की विपक्षी भाजपा ने इस निगम में 187 करोड़ रुपये के घोटाले का दावा किया है।
दलितों की भलाई के पैसों में की धांधली
कर्नाटक महर्षि वाल्मीकि अनुसूचित जनजाति विकास निगम लिमिटेड का संचालन कर्नाटक सरकार ही करती है।मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, यहां के अकाउंट सुपरिटेंडेंट चंद्रशेखरन पी ने 26 मई को आत्महत्या कर ली थी और सुसाइड नोट में गलत ढंग से मनी ट्रांसफर का जिक्र किया था, जिसके बाद इस घोटाले का जिक्र हुआ।
इस नोट में आरोप लगाया गया है कि निगम के बैंक अकाउंट से 187 करोड़ रुपये का अनधिकृत ट्रांसफर हुआ है। इस घोटाले में अपने पर लगे आरोपों के बाद, अनुसूचित जनजाति कल्याण मंत्री बी नागेंद्र को इस्तीफा देना पड़ा था। इसी घोटाले को लेकर सोमवार को विधानसभा में भाजपा और कांग्रेस के बीच खूब हंगामा हुआ।
सिद्धारमैया सरकार दलितों और आदिवासियों की विरोधी
विधानसभा में हुए इसी हंगामे के बाद मुख्यमंत्री सिद्धारमैया ने घोटाले की बात कबूल कर ली। इस पर बीजेपी ने राज्य की कांग्रेस सरकार पर हमला बोला और कहा- सिद्धारमैया सरकार दलितों और आदिवासियों की विरोधी है।
केंद्रीय मंत्री शोभा करंदलाजे ने मुख्यमंत्री से मांगा इस्तीफा
वहीं केंद्रीय मंत्री शोभा करंदलाजे ने मैसूर शहरी विकास प्राधिकरण घोटाले में मुख्यमंत्री से इस्तीफे की मांग की है। शोभा करंदलाजे ने कर्नाटक सरकार को कांग्रेस आलाकमान का एटीएम बताते हुए राहुल गांधी की आलोचना की।
दरअसल, मुख्यमंत्री सिद्धारमैया की पत्नी की गलत तरीके से मैसूर में जमीन आवंटित किए जाने का आरोप है कि उनको गलत तरीके से जमीन दी गई।
Discover more from Voice Of Bihar
Subscribe to get the latest posts sent to your email.