नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी प्रसाद यादव ने आरक्षण मुद्दे पर फिर भाजपा और एनडीए पर सीधा प्रहार किया है। रविवार को प्रेस वक्तव्य जारी कर कहा कि 17 माह के राजद के साथ बनी महागठबंधन सरकार ने देश में पहली बार बिहार में जातीय गणना हुई।
इसकी रिपोर्ट के आधार पर आरक्षण का दायरा बढ़ाकर 75 फीसदी किया गया। पर भाजपा और एनडीए ने दलितों, पिछड़ों व आदिवासियों के लिए आरक्षित 65 फीसदी सीमा को रुकवा दिया।
तेजस्वी ने कहा कि केंद्र व बिहार की एनडीए सरकार आरक्षण विरोधी है। इसलिए बिहार में हमारी सरकार के स्तर से दिए गए 65 फीसदी आरक्षण को संविधान की 9वीं अनुसूची में शामिल नहीं कर रही है। तेजस्वी ने कहा कि सभी वर्गों को सामाजिक तथा आर्थिक न्याय मिले, उनका उत्थान हो, इसके लिए हम निरंतर प्रयास करते रहते हैं। यही वजह है कि अपने 17 महीने के कार्यकाल में हमने अपनी इच्छाशक्ति के बल पर 5 लाख से अधिक युवाओं को सरकारी नौकरी दी। 3 लाख से अधिक नौकरियां प्रक्रियाधीन कराई।