असम के मुख्यमंत्री हिमंत बिस्वा सरमा ने असम विधानसभा में 1937 में मुस्लिम लीग के सैयद सादुल्ला द्वारा शुरू की गई प्रथा को खत्म कर दिया। उन्होंंने विधानसभा में शुक्रवार को दी जाने वाली 2 घंटे के लिए जुम्मे की नवाज ब्रेक की प्रथा को खत्म कर दिया। उनके इस फैसले पर दूसरे राज्यों के कई मंत्रियों ने बयान दिया। इसी क्रम में RJD नेता तेजस्वी यादव ने भी सरमा पर हमला बोला था।
उन्होंने इस फैसले की आलोचना करते हुए उन्हें “योगी का चाइनीज़ वर्जन” बताया था। तेजस्वी यादव ने कहा था कि सरमा सस्ती लोकप्रियता चाहते हैं। जिसके कारण वो इस तरह के फैसले ले रहे हैं। उनके इस बयान पर सरमा का पलटवार सामने आया है। उन्होने कहा कि “तेजस्वी यादव मेरी आलोचना कर रहे हैं लेकिन मैं उनसे पूछना चाहता हूं कि क्या बिहार में ऐसी कोई प्रथा है? आपको (यादव को) बिहार के उपमुख्यमंत्री रहते हुए चार घंटे का ब्रेक लागू करना चाहिए था।
उपदेश देने से पहले खुद इसे करके दिखाते।” उन्होंने कहा, “मैं दो घंटे के जुमा ब्रेक को फिर से लागू करूंगा, अगर मुझे सलाह देने वाले लोग अपने-अपने राज्यों में चार घंटे के ब्रेक को लागू कर दें।”