दक्षिणी राज्यों के किसानों के लिए आ गया स्वदेशी एग्रीबोट एमएक्स ड्रोन, छिड़काव में करेगा मदद
तमिलनाडु के कोयंबटूर में जिला लघु उद्योग संघ के तत्वावधान में आयोजित 22वें पांच दिवसीय एग्री इनटेक्स मेले के समापन पर आज (15 जुलाई) कृषि ड्रोन प्रौद्योगिकी में अग्रणी आईओटेक वर्ल्ड के स्वदेशी एग्रीबोट एमएक्स ड्रोन का अनावरण किया गया। यह जानकारी आईओटेक वर्ल्ड की विज्ञप्ति में दी गई है। आईओटेकवर्ल्ड, कृषि में प्रयोग होने वाली ड्रोन टेक्नोलॉजी में अग्रणी है।
आईओटेक वर्ल्ड के सह संस्थापक और निदेशक (द्वय) दीपक भारद्वाज और अनूप उपाध्याय ने कहा है कि इसे खासतौर पर देश के दक्षिणी राज्यों के ऐसे प्रगतिशील किसानों के लिए डिजाइन किया गया है जो उन्नत छिड़काव के लिए उत्सुक हैं। यह ड्रोन अत्याधुनिक तकनीक से सुसज्जित है। ड्रोन में रडार आधारित एडीएएस और टेरेन फॉलोइंग क्षमता शामिल है।उन्होंने कहा कि एडीएएस उन्नत ड्रोन सहायता प्रणाली है। यह छिड़काव में रुकावट आने पर ड्रोन का स्वचालित मार्ग बदल देता है। यह एग्रीनेट ऐप पर सहज डैशबोर्ड के माध्यम से क्लाउड तक पहुंच योग्य वास्तविक समय डेटा ट्रांसमिशन प्रदान करता है। उन्होंने कहा एग्रीबोट ऐसी मशीन है जो कृषि उद्यमियों और किसानों को कृषि पद्धतियों में क्रांतिकारी बदलाव लाने के लिए प्रेरित करती है।
भारतीय कृषि क्षेत्र में इस्तेमाल होने वाला ड्रोन कृषि की उन्नत तकनीक के शिखर का प्रतिनिधित्व करता है। इसका लक्ष्य खेती में आधुनिक तरीके अपनाकर क्रांतिकारी बदलाव लाना है, जिससे उत्पादकता के साथ स्थिरता भी बढ़ी है।कृषि में ड्रोन के उपयोग से विशिष्ट लाभ होते हैं जैसे किसानों की दक्षता में वृद्धि, छिड़काव की लागत में कमी के कारण लागत प्रभावशीलता, उच्च स्तर के परमाणुकरण के कारण उर्वरकों और कीटनाशकों की बचत, अत्यधिक कम मात्रा में छिड़काव के कारण पानी की बचत आदि के अलावा मानव संसाधन के खतरनाक रसायनों के संपर्क में आने में कमी आती है। कृषि में ड्रोन के उपयोग से कृषि क्षेत्र में प्रत्यक्ष और अप्रत्यक्ष रोजगार पैदा करने में भी प्रेरणादाई प्रभाव पड़ता है।
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