पहली बार किसी महिला को अपने गृह नगर में ही सिविल जज की मुख्य परीक्षा में बैठने की अनुमति दी
पहली बार किसी महिला को जज की परीक्षा गृह जिले में देने की छूट दी
कर्नाटक हाई कोर्ट ने पहली बार किसी महिला को अपने गृह नगर में ही सिविल जज की मुख्य परीक्षा में बैठने की अनुमति दी है। दरअसल, महिला साढ़े आठ माह की गर्भवती है, इसलिए वह मंगलुरु से बाहर परीक्षा देने जाने में परेशान होती। हाई कोर्ट ने इस साल मार्च में 57 न्यायाधीशों की भर्ती के लिए परीक्षा आयोजित करने अधिसूचना जारी की थी। प्रारंभिक परीक्षा 23 जुलाई को हुई थी। छह हजार से अधिक उम्मीदवारों में से 1,022 को बेंगलुरु में शनिवार को शुरू हुई मुख्य परीक्षा के लिए चुना गया था। परीक्षा रविवार को भी होगी। दक्षिण कन्नड़ जिले के मंगलुरु की वकील नेत्रावती ने मुख्य परीक्षा के लिए क्वालीफाई किया था।
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