प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने सोशल मीडिया पर एक पोस्ट में बताया है कि कैसे ‘मेक इन इंडिया’ भारत की अर्थव्यवस्था को वैश्विक मंच पर आगे बढ़ा रहा है। सोशल मीडिया पर साझा पोस्ट में मेक इन इंडिया की झलक दिखाते हुए बताया गया है कि भारतीय साइकिलों की दुनियाभर में मांग हो रही है। ब्रिटेन, जर्मनी और नीदरलैंड्स में निर्यात बढ़ा है। यह वृद्धि अंतरराष्ट्रीय बाजारों में भारत के बढ़ते प्रभाव को उजागर करती है।पोस्ट के अनुसार, बिहार में बने जूतों का इस्तेमाल अब रूसी सेना कर रही है। जो भारतीय उत्पादों की अप्रत्याशित वैश्विक पहुंच को प्रदर्शित करता है। यह वह मील का पत्थर है जो अंतरराष्ट्रीय रक्षा बाजारों में भारत के बढ़ते प्रभाव और इसकी विनिर्माण क्षमताओं की उच्च गुणवत्ता को दर्शाता है।
इतना ही नहीं, जैसे-जैसे विश्व कप नजदीक आया, कश्मीर में बने बल्ले की भारी मांग होने लगी। ये बल्ले भारत के उत्कृष्ट शिल्प कौशल और अंतर्राष्ट्रीय क्रिकेट परिदृश्य पर महत्वपूर्ण प्रभाव का उदाहरण पेश करते हैं।
पोस्ट में बताया गया है कि अमेरिकी बाजार में अमूल अपने उत्पाद उतारकर भारत के अनूठे स्वादों को दुनिया भर में पहुंचा रहा है। यह अंतर्राष्ट्रीय विस्तार भारतीय डेयरी उत्पादों की वैश्विक अपील और दुनिया भर में भारत का स्वाद फैलाने की अमूल की प्रतिबद्धता को उजागर करता है।
वहीं, भारत की यूपीआई प्रणाली अब वैश्विक बन गई है, जो कई देशों में निर्बाध डिजिटल भुगतान को सक्षम बनाती है। यह तकनीकी प्रगति वित्तीय प्रौद्योगिकी संबंधी नवाचार में भारत के नेतृत्व और दुनिया भर में डिजिटल लेनदेन में क्रांति लाने की प्रतिबद्धता को रेखांकित करती है।
भारत और रूस के बीच एक संयुक्त उद्यम से बनी ब्रह्मोस मिसाइलें अब दक्षिणी चीन सागर में तैनात हैं। यह विकास भारत की रणनीतिक रक्षा क्षमताओं और वैश्विक सुरक्षा को बढ़ाने में देश की महत्वपूर्ण भूमिका पर जोर देता है।