प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी आज बिहार पहुंंचे। जहां उन्होंने नालंदा विश्वविद्यालय के नए कैंपस का उद्घाटन किया। कार्यक्रम में 17 देशों के राजदूत भी शामिल हुए। इससे पूर्व पीएम मोदी ने प्राचीन नालंदा विश्वविद्यालय के खंडहर का दौरा कर इसकी जानकारी ली। बिहार के राजगीर में प्राचीन नालंदा विश्वविद्यालय के पास ही नया कैंपस बनाया गया है।
पीएम मोदी के संबोधन की खास बातें
इस दौरान पीएम ने कहा कि मै इसे भारत की विकास के एक शुभ संकेत के रूप में देखता हूं। नालंदा केवल नाम नहीं, यह पहचान है। नालंदा मंत्र, गौरव और गाथा है। आग की लपटों में पुस्तकें में भले जल जाए, लेकिन आग की लपटें ज्ञान को नहीं मिटा सकती। इस दौरान पीएम ने कहा कि मै इसे भारत की विकास के एक शुभ संकेत के रूप में देखता हूं। नालंदा केवल नाम नहीं, यह पहचान है। नालंदा मंत्र, गौरव और गाथा है। आग की लपटों में पुस्तकें में भले जल जाए, लेकिन आग की लपटें ज्ञान को नहीं मिटा सकती। प्राचीन अवशेषों के समीप नालंदा का नया कैंपस विश्व को भारत के सामर्थ्य का परिचय देगा। नालंदा भारत के अतीत का पुनर्जागरण नहीं है। इसमें एशिया के कितने ही देशों की विरासत जुड़ी हुई है। प्राचीन नालंदा में बच्चों का एडमिशन बच्चों के देश को देखकर नहीं होता था। नालंदा के नए कैंपस में उसी परंपरा को आधुनिक रूप में मजबूती देखनी है। मुझे देखकर खुशी है कि दुनिया के कई देशों के स्टूडेंट्स आने लगे हैं। 20 देशों के छात्र यहां पढ़ाई कर रहे हैं। यह वसुधैव कुटुंबकम की भावना का सुंंदर प्रतीक है। आने वाले समय में नालंदा यूनिवर्सिटी फिर एक बार हमारे कल्चरल एक्सचेंज का नया सेटंर बनेगी।
यह देश का ऐसा पहला कैंपस है, नेट जीरो एनर्जी, नेट जीरो एमिशन वाटर, नेट जीरो वेस्ट मॉडल पर काम करेगा। जब शिक्षा का विकास होता है, तब अर्थव्यवस्था और संस्कृति का विकास होता है।
आज भारत में योग की सैकड़ों सुविधाएं मौजूद हैं। हमारे ऋषियों ने कितना गहन शोध इसके लिए किया होगा! लेकिन, किसी ने योग पर एकाधिकार नहीं बनाया। आज पूरा विश्व योग को अपना रहा है, योग दिवस एक वैश्विक उत्सव बन गया है।
कुछ दिन पहले साइंस हायर एजुकेशन इंपैक्ट रैंकिंग आई है। कुछ साल पहले तक इसमें भारत के सिर्फ 13 इंस्टीट्यूशन शामिल थे। अब इसमें भारत के 100 शिक्षा संस्थान शामिल है। पिछले एक दशक में देश में हर सप्ताह एक यूनिवर्सिटी बनी है। हर दिन एक नई आईटीआई की स्थापना हुई है। भारत में हर दिन दो नए कॉलेज बने। आज देश में 23 आईआईटी है। दस साल पहले देश में 13 एम्स थे, आज यह 21 हो गई। 10 साल में मेडिकल कॉलेज की संख्या भी दोगुना हो गई। आज भारत के एजुकेशन सेक्टर में रिफॉर्म हो रहे हैं। इसी साल अबू धाबी में आईआईटी दिल्ली का कैंपस खुला है। तंजानिया में आईआईटी मद्रास का कैंपस शुरू हो चुका है।
प्राचीन वैभव लौटाएगी सरकार
विदेश मंत्रालय के अनुसार मौजूदा नालंदा विश्वविद्यालय को सरकार वैसा ही वैभव दिलाना चाहती है, जैसा 800 साल पहले था। सरकार विश्वविद्यालय को शिक्षा का नया केंद्र बनाना चाहती है। नालंदा विश्वविद्यालय की स्थापना साल 2010 में की गई थी, जिसके लिए सरकार ने बकायदा कानून भी बनाया था। हालांकि तब से अब तक यह अस्थाई भवन में ही चल रहा था। बताया गया कि विश्वविद्यालय की लाइब्रेरी में करीब 8 लाख किताबें रहेंगी।