भारत की राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु ने न्यूजीलैंड में अंतरराष्ट्रीय शिक्षा सम्मेलन के दौरान पूरी दुनिया को अहम संदेश दिया। उन्होंने कहा,” शिक्षा हमेशा मेरे दिल के करीब रही है। मैंने शिक्षा की परिवर्तनकारी शक्ति का प्रत्यक्ष अनुभव किया है। 21वीं सदी के भारत में शिक्षा प्रणाली की महत्वपूर्ण भूमिका है। शिक्षा ने विभिन्न क्षेत्रों को ऐसे नेता दिए हैं जो न केवल भारत, बल्कि दुनिया भर में योगदान दे रहे हैं।”
तीन देशों की राजकीय यात्रा पर राष्ट्रपति मुर्मु
तीन देशों की राजकीय यात्रा का पहला चरण फिजी में पूरा कर न्यूजीलैंड पहुंची राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु ने यहां अंतरराष्ट्रीय शिक्षा सम्मेलन में हिस्सा लिया। उन्होंने यह भी कहा कि ”आज भारत में युवाओं की बड़ी संख्या है। उन्हें गुणवत्तापूर्ण शिक्षा का महत्व मालूम है। भारतीय माता-पिता भी अपने बच्चों को सर्वोत्तम शिक्षा दिलाने की आकांक्षा रखते हैं। यह वास्तव में स्वागत योग्य है। आज आठ हजार भारतीय विद्यार्थी न्यूजीलैंड के विभिन्न संस्थानों में गुणवत्तापूर्ण शिक्षा प्राप्त कर रहे हैं।”
राष्ट्रपति मुर्मु को रॉयल गार्ड ऑफ ऑनर भी दिया गया
इससे पहले न्यूजीलैंड पहुंचीं राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु का गवर्नमेंट हाउस में गवर्नर जनरल डेम सिंडी किरो ने गर्मजोशी से स्वागत किया। राष्ट्रपति मुर्मु के स्वागत में पारंपरिक माओरी “पोविरी” समारोह आयोजित किया गया। उन्हें रॉयल गार्ड ऑफ ऑनर भी दिया गया। गवर्नर-जनरल डेम सिंडी किरो के निमंत्रण पर राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु न्यूजीलैंड के दो दिन के दौरे पर रहेंगी।
राष्ट्रपति मुर्मु यहां प्रधानमंत्री क्रिस्टोफर लक्सन से भी मुलाकात करेंगी
राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु ने गवर्नर जनरल किरो के साथ बैठक की। दोनों नेताओं ने दोनों देशों के बीच मधुर और मैत्रीपूर्ण संबंधों की सराहना की और विभिन्न क्षेत्रों में सहयोग पर चर्चा की। राष्ट्रपति मुर्मु यहां प्रधानमंत्री क्रिस्टोफर लक्सन से भी मुलाकात करेंगी। वो ऑकलैंड में भारतीय समुदाय को भी संबोधित करेंगी। यात्रा के अंतिम चरण में राष्ट्रपति तिमोर-लेस्ते जाएंगी।