रुपौली उपचुनाव जीतने वाले कौन हैं बाहुबली शंकर सिंह? जिसने नीतीश-तेजस्वी के उम्मीदवार को धूल चटाई
रुपौली विधानसभा उपचुनाव के नतीजे सामने आ गये हैं। निर्दलीय बाहुबली प्रत्याशी शंकर सिंह ने बड़ी जीत हासिल की है। नीतीश की पार्टी जेडीयू से कलाधार मंडल और तेजस्वी के उम्मीदवार बीमा भारती को शंकर सिंह ने धूल चला दी है। जबकि बीमा भारती पांच बार से रुपौली की विधायक थी उन्हें पूरा विश्वास था कि इस बार भी रुपौली की जनता का आशीर्वाद मिलेगा। बीमा भारती ने लोकसभा चुनाव लड़ने के लिए इस सीट से इस्तीफा दिया था जिसके बाद से यह सीट खाली था। इस सीट को छोड़कर बीमा ने लोकसभा का चुनाव लड़ा लेकिन जीत हासिल नहीं कर पाई। पूर्णिया लोकसभा सीट से निर्दलीय प्रत्याशी पप्पू यादव जीत गये।
जिसके बाद फिर बीमा भारती ने रुपौली सीट दोबारा उपचुनाव लड़ने का फैसला लिया और चुनाव के मैदान में उतर गयी लेकिन इस बार वो फिर हार गयी। यहां भी बीमा भारती को निर्दलीय उम्मीदवार शंकर सिंह ने भारी मतों से हरा दिया। 8000 से ज्यादा वोट से शंकर सिंह ने जीत हासिल की है। चिराग पासवान की पार्टी ने जब शंकर सिंह को टिकट नहीं दिया तब वो निर्दलीय चुनाव लड़ने का फैसला लिया और अब चुनाव जीत गये। बता दें कि बाहुबली शंकर सिंह ने पहले लोजपा के नेता थे।
2005 के विधानसभा चुनाव में लोजपा के उम्मीदवार थे। तब उन्होंने चुनाव जीत लिया था लेकिन उस वक्त सरकार नहीं बन पाई थी और विधानसभा भंग होने के कारण दोबारा चुनाव हुआ। दूसरी बार चुनाव होने पर शंकर सिंह बीमा भारती से चुनाव हार गये। जिसके बाद 2010,2015 और 2020 में भी शंकर सिंह लोजपा के टिकट पर चुनाव लड़े लेकिन जीत हासिल नहीं हुई लेकिन इस बार उन्होंने निर्दलीय प्रत्याशी के तौर पर जीत हासिल कर सबको चौका दिया है।
रुपौली की इस जीत से जेडीयू और आरजेडी के नेता भी हैरान हैं। बीमा भारती तो इस बार पप्पू यादव से मदद मांगने गयी थी लेकिन इसके बावजूद वो चुनाव हार गयी। लोकसभा चुनाव हारने के बाद विधानसभा उपचुनाव भी हार गयी। दोनों चुनाव बीमा भारती ने निर्दलीय प्रत्याशी से ही हारी है। दोनों निर्दलीय पत्याशी का चुनाव चिन्ह कैची छाप था जबकि बीमा भारती का चुनाव चिन्ह लालटेन था। कैची ने लालटेन को लोकसभा और विधानसभा चुनाव दोनों हरा दिया है।
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