Voice Of Bihar

खबर वही जो है सही

15 मार्च से पहले मालदीव छोड़ दे भारतीय सेना, चीन दौरे के बाद बोले राष्ट्रपति मुइज्जू

ByLuv Kush

जनवरी 14, 2024
IMG 8296 jpeg

मालदीव के राष्ट्रपति मोहम्मद मुइज्जू ने भारत सरकार को 15 मार्च से पहले द्वीपसमूह राष्ट्र से अपनी सैन्य उपस्थिति वापस लेने का प्रस्ताव दिया है।मुइज्जू का ये प्रस्ताव भारत और मालदीव के बीच जारी तनावपूर्ण राजनयिक संबंधों के बीचों-बीच आया है।

मालदीव के राष्ट्रपति मोहम्मद मुइज्जू ने भारत सरकार को 15 मार्च से पहले द्वीपसमूह राष्ट्र से अपनी सैन्य उपस्थिति वापस लेने का प्रस्ताव दिया है. मुइज्जू का ये प्रस्ताव भारत और मालदीव के बीच जारी तनावपूर्ण राजनयिक संबंधों के बीचों-बीच आया है. मालूम हो कि, पिछली मालदीव सरकार के अनुरोध पर, कई वर्षों से इस द्वीपसमूह राष्ट्र भारत की एक छोटी सैन्य उपस्थिति रही है. इस उपस्थिति को मुख्य रूप से समुद्री सुरक्षा और आपदा राहत में सहायता के एक तरीके के रूप में देखा गया था।

गौरतलब है कि मालदीव के नए राष्ट्रपति मुइज़ू ने नवंबर 2023 में भारत के साथ मालदीव के संबंधों को कम करने और चीन के साथ जुड़ाव बढ़ाने के मंच पर कई अभियान चलाए थे, जिसके बाद अब मुइज्जू ने स्पष्ट तौर पर भारत से देश में तैनात अपने सैन्य कर्मियों को वापस लेने का प्रस्ताव जारी कर दिया है।

भारत लोगों की लोकतांत्रिक इच्छा का सम्मान करेगा।

वहीं नवंबर में जारी एक बयान में, मालदीव के राष्ट्रपति के कार्यालय ने कहा था कि उनका देश “उम्मीद करता है कि भारत लोगों की लोकतांत्रिक इच्छा का सम्मान करेगा”. बयान में आगे कहा गया कि, “सितंबर में हुए राष्ट्रपति चुनाव में मालदीव के लोगों ने मुइज्जू को मजबूत जनादेश दिया, साथ ही उम्मीद जताई कि भारत मालदीव के लोगों की लोकतांत्रिक इच्छा का सम्मान करेगा.” हालांकि अबतक सरकार ने सैनिकों को वापस बुलाने के लिए कोई समय सीमा प्रस्तावित नहीं की है।