15 दिनों के ट्रायल में एक व्यक्ति को दी फांसी की सजा को किया निरस्त, जाने पूरा मामला

20231022 22394820231022 223948

दिल्ली :- सुप्रीम कोर्ट ने इंदौर में अप्रैल, 2018 में तीन महीने की बच्ची के साथ दुष्कर्म और हत्या के लिए एक व्यक्ति को दी गई मौत की सजा को निरस्त कर दिया। सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि मामले का ट्रायल जल्दबाजी में 15 दिनों में पूरा किया गया था और आरोपी को अपना बचाव करने का उचित अवसर नहीं दिया गया था।

जस्टिस बीआर गवई, जस्टिस पीएस नरसिम्हा और जस्टिस प्रशांत कुमार मिश्रा की पीठ ने कहा कि जल्दबाजी में सुनवाई न केवल निरर्थक और स्टेज मैनेज्ड होगी बल्कि न्यायिक शांति के सिद्धांत का भी उल्लंघन है। शीर्ष अदालत ने मामले को इंदौर सत्र अदालत में वापस भेजते हुए इस पर नए सिरे से सुनवाई का आदेश दिया। पीठ ने कहा कि इस मामले में मुकदमा रोजाना आधार पर चलाया गया था और ऑर्डर-शीट में यह भी दर्ज नहीं है कि गवाहों के बयान की प्रतियां आरोपी या उसके वकील को दी गई थीं। यह भी नहीं मालूम है कि बचाव पक्ष के वकील को सभी आवश्यक सामग्री आपूर्ति की गई थी, ताकि वह अंतिम दलीलें दे सके।

 

 

बेस्ट बेकरी मामले में अपने फैसले का हवाला देते हुए पीठ ने कहा कि इस प्रकार यह तय हो गया है कि जल्दबाजी में सुनवाई की गई। जिसमें आरोपी को खुद का बचाव करने के लिए उचित और पर्याप्त अवसर नहीं दिया गया, वह सुनवाई को निरर्थक बना देगा। पीठ ने कहा कि हमारे विचार में न्याय के पवित्र स्थल में एक निष्पक्ष सुनवाई का सार न्यायिक शांति के दृढ़ स्वीकार्यता में निहित है।

 

 

इस मामले में अपीलकर्ता नवीन उर्फ अजय को 20 अप्रैल, 2018 को गिरफ्तार किया गया था। पीठ ने कहा कि मौजूदा मामले में अभियोजन परिस्थितिजन्य साक्ष्यों पर आधारित है। अभियोजन पक्ष को परिस्थितिजन्य साक्ष्यों में प्रत्येक कड़ी को साबित करना होता है और इसमें महत्वपूर्ण कड़ी डीएनए रिपोर्ट, एफएसएल रिपोर्ट और विसरा रिपोर्ट हैं। लेकिन इन रिपोर्ट को तैयार करने वाले किसी भी व्यक्ति को गवाह के रूप में नहीं बुलाया गया। हाईकोर्ट द्वारा इस तथ्य को नजरअंदाज करना सही नहीं था। पीठ ने कहा कि ट्रायल कोर्ट ने आरोपी के साथ ऐसा व्यवहार किया, मानो उसके पास जादू की छड़ी हो। इस मामले में 20 अप्रैल को घटना हुई और आरोपपत्र 27 अप्रैल, 2018 को सात दिनों के रिकॉर्ड समय में दायर कर दिया गया था। ट्रायल कोर्ट ने फैसला 12 मई, 2018 को सुना दिया था।

Satyavrat Singh: I am satyavrat Singh news reporter of vob from Munger Bihar.
Recent Posts
whatsapp