ईपैक ड्यूरेबल का 640 करोड़ रुपये का आईपीओ 19 जनवरी 2024 को खुल रहा है। हम आपको इसके प्राइस बैंड से लेकर अन्य डिटेल्स के बारे में बता रहे हैं।
आईपीओ में पैसा लगाने वालों के लिए एक जरूरी खबर है. उत्तर प्रदेश स्थित ईपैक ड्यूरेबल का आईपीओ 19 जनवरी यानी शुक्रवार को खुल रहा है. इस आईपीओ के जरिए कंपनी का कुल 640.05 करोड़ रुपये जुटाने का लक्ष्य है जिसमें से 400 करोड़ रुपये के फ्रेश शेयर वहीं 240.05 करोड़ रुपये के शेयर ऑफर फॉर सेल के जरिए जारी किए जाएंगे. अगर आप भी इस आईपीओ में पैसे लगाने के बारे में सोच रहे हैं तो हम आपको इसके डिटेल्स के बारे में जानकारी दे रहे हैं।
जानें ईपैक ड्यूरेबल से जुड़े जरूरी डेट्स-
ईपैक ड्यूरेबल आईपीओ 19 जनवरी 2024 को खुल रहा है. वहीं एंकर निवेशकों को एक दिन पहले 18 जनवरी से इश्यू में पैसे लगाने का मौका मिल रहा है. इसमें आप 23 जनवरी 2024 तक बोली लगा सकते हैं. कंपनी ने शेयर अलॉटमेंट की तारीख 24 जनवरी, 2024 को तय की है. वहीं असफल निवेशकों को 24 जनवरी को रिफंड प्राप्त हो जाएगा. डीमैट खाते में शेयर 25 जनवरी को ही ट्रांसफर कर दिए जाएंगे. शेयरों की लिस्टिंग 29 जनवरी को बॉम्बे स्टॉक एक्सचेंज और नेशनल स्टॉक एक्सचेंज पर हो सकती है।
कितना तय हुआ प्राइस बैंड?
कंपनी ने मंगलवार को आईपीओ का प्राइस बैंड तय कर दिया है. यह 218 रुपये से लेकर 230 रुपये के बीच है. रिटेल निवेशक एक बार में कम से कम 65 शेयरों का लॉट खरीद सकते हैं. वहीं अधिकतम सीमा 13 लॉट यानी 845 शेयरों का तय किया गया है. ऐसे में इस आईपीओ में खुदरा निवेशक 14,950 रुपये से लेकर अधिकतम 1,94,350 रुपये तक का निवेश कर सकते हैं. इश्यू में खुदरा निवेशकों के लिए 35 फीसदी हिस्सा तय किया गया है. वहीं क्वालिफाइड इंस्टीट्यूशनल बायर्स (क्यूआईबी) के लिए सबसे ज्यादा 50 फीसदी हिस्सा और हाई नेटवर्थ इंडिविजुअल्स के लिए कुल 15 फीसदी हिस्सा रिजर्व किया गया है।
क्या करता है कंपनी?
ईपैक ड्यूरेबल कई एसी बनाने वाली कंपनियों जैसे ब्लू स्टार, Daikin Airconditioning, Voltas, Haier Appliances के पार्ट्स को बनाती है. इसके अलावा यह इंडक्शन कुकटॉप्स, मिक्सर-ग्राइंडर, वाटर डिस्पेंसर आदि के पार्ट्स का भी निर्माण करती है. कंपनी आईपीओ के जरिए जुटाई गई रकम का इस्तेमाल कर्ज चुकाने के साथ ही कॉरपोरेट उद्देश्यों को पूरा करने के लिए करेगी. वित्त वर्ष 2023 में कंपनी का प्रॉफिट 83.40 फीसदी बढ़कर 32 करोड़ रुपये रहा है।