22 स्टूडेंट जिंदा जले, 50 ने खिड़की से कूद बचाई जान; जानें 5 साल पहले सूरत में कैसे हुआ था खौफनाक हादसा?

GridArt 20240524 095254893

नींद के आगोश में थे स्टूडेंट, अचानक आग की ऊंची-ऊंची लपटें उन्हें गर्मी का अहसास कराने लगीं। आंख खुली तो चारों ओर से भीषण आग से घिरे थे। इतनी विकराल आग देखकर उनमें चीख पुकार मच गई। फिर जान बचाने के लिए वे कमरों से बाहर की ओर भागने लगे, लेकिन तब तक लकड़ी की सीढ़ियां जलकर राख हो चुकी थीं तो छात्रों ने कंबल उठाए और लपेट कर खिड़की से कूदना शुरू कर दिया।

50 से ज्यादा छात्रों ने खिड़कियों से कूदकर अपनी जान बचाई, लेकिन तब तक करीब 22 स्टूडेंट आग में बुरी तरह झुलस गए थे। उन्होंने अस्पताल पहुंचने तक दम तोड़ दिया। मरने वाले स्टूडेंट्स में 18 लड़कियां और 4 लड़के थे, जिनकी उम्र 15 से 22 वर्ष के बीच थी। 19 स्टूडेंट्स की मौत जिंदा जल जाने से हुई थी, वहीं 3 की खिड़की से कूदने के कारण जान गई थी। जी हां, यह खौफनाक हादसा और भीषण अग्निकांड आज से 5 साल पहले गुजरात के सूरत में हुआ था।

कैसे लगी थी आग और क्या नुकसान हुआ?

24 मई 2019 का दिन को सूरत के सरथाना जकातनाका इलाके में बिल्डिंग में भीषण आग लग गई थी। इस बिल्डिंग में तक्षशिला आर्केड नामक कोचिंग सेंटर भी था। आग ग्राउंड फ्लोर पर एयर कंडीशनर में इलेक्ट्रिकल शॉर्ट सर्किट से लगी थी और कोचिंग सेंटर में स्टूडेंट्स लकड़ी की सीढ़ी के टूटने से फंस गए थे।

आग इतनी तेजी से फैली थी कि उसने कुछ ही मिनटों में पूरी बिल्डिंग को अपनी चपेट में ले लिया था। आग ने बिल्डिंग के पास बनी 2 दुकानों और नीचे खड़े वाहनों को भी चपेट में लिया था। दमकल विभाग की 19 गाड़ियों ने 2 हाइड्रोलिक की मदद से आग बुझाई थी। करीब एक घंटे की मशक्कत के बाद आग बुझी, लेकिन 22 बच्चों को अपनी जान गंवानी पड़ी।

हादसे से क्या सबक लिया गया?

मीडिया रिपोर्ट के अनुसार, सूरत में हुए हादसे से सबक लेते हुए अहमदाबाद नगर निगम और वडोदरा नगर निगम ने प्रदेश में बच्चों के लिए बने आवासीय परिसरों को नोटिस जारी किए और आग से बचाव के उपकरणों की व्यवस्था करने के आदेश दिए। गुजरात सरकार ने राज्य में सभी निजी कोचिंग सेंटरों को आग से बचाव के इंतजाम करने तक बंद करने के आदेश दिए।

स्कूलों, कॉलेजों, कोचिंग सेंटरों, अस्पतालों, शॉपिंग मॉल और अन्य कमर्शियल बिल्डिंग्स की जांच के आदेश दिए। मुख्यमंत्री ने मृतकों के परिवारों से संवेदन व्यक्त की। आग में झुलसे बच्चों से अस्पताल जाकर मुलाकात की। हादसे में मरने वाले बच्चों के परिवारों को 4 लाख रुपये मुआवजा देने की घोषणा की। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, गृहमंत्री अमित शाह, रक्षामंत्री राजनाथ सिंह, और राहुल गांधी सहित कई नेताओं ने हादसे पर शोक व्यक्त किया।

Sumit ZaaDav: Hi, myself Sumit ZaaDav from vob. I love updating Web news, creating news reels and video. I have four years experience of digital media.
Recent Posts