तेलंगाना टनल हादसे को लेकर तेलंगाना के मंत्री जुपल्ली कृष्ण राव ने बड़ा बयान दिया है. उन्होंने कहा है कि श्रीशैलम लेफ्ट बैंक कैनाल सुरंग की छत गिर जाने की वजह से उसके अंदर जो 8 मजदूर फंसे हुए हैं, उनके बचने की संभावना बहुत कम है.
हालांकि, उन तक पहुंचने के लिए हर संभव प्रयास किए जा रहे हैं. मंत्री ने कहा कि फंसे हुए लोगों को बचाने में कम से कम तीन से चार दिन लगेंगे, क्योंकि सुरंग के अंदर कीचड़ और मलबा भर गया है. रेस्क्यू टीम के लिए यह एक मुश्किल काम बन गया है.
सुरंग में फंसे 8 लोग नहीं दे रहे कोई जवाब
न्यूज एजेंसी पीटीआई से बातचीत में मंत्री कृष्ण राव ने कहा कि ईमानदारी से कहूं तो उनके बचने की संभावना बहुत कम है क्योंकि मैं खुद उस आखिर छोर तक गया था जो दुर्घटना स्थल से लगभग 50 मीटर दूर था. जब हमने तस्वीरें लीं तो सुरंग का अंत दिखाई दे रहा था और 9 मीटर के व्यास वाली सुरंग में लगभग 30 फुट में से 25 फुट तक कीचड़ जमा हो गया है. जब हमने उनके नाम पुकारे, तो कोई जवाब नहीं मिला इसलिए उनके बचने की संभावना कम दिखाई दे रही है.
मशीनों की मदद से मलबा हटाने का काम जारी
कृष्ण राव ने कहा कि कई मशीनों की मदद से मलबा हटाने का काम जारी है. उन्होंने कहा कि सुरंग खोदने वाली मशीन (TBM) का वजन कुछ सौ टन है, लेकिन सुरंग ढहने के बाद और पानी के तेज बहाव के कारण मशीन लगभग 200 मीटर तक बह गई. ऑक्सीजन की आपूर्ति और पानी निकालने का काम लगातार किया जा रहा है. राव ने कहा कि मलबे को हटाने के लिए सुरंग में कन्वेयर बेल्ट को बहाल किया जा रहा है. इन आठ लोगों में से दो इंजीनियर, दो ऑपरेटर और चार मजदूर हैं.
सुरंग में फंसे ये मजदूर किस-किस राज्य से?
सुरंग में पिछले 48 घंटों से जो लोग फंसे हैं, उनकी पहचान उत्तर प्रदेश के मनोज कुमार और श्री निवास, जम्मू कश्मीर के सनी सिंह, पंजाब के गुरप्रीत सिंह और झारखंड के संदीप साहू, जेगता जेस, संतोष साहू और अनुज साहू के रूप में हुई है.
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