तरकस में से दूसरा तीर 2 अक्टूबर को मारा जाएगा, उसके बाद आप देखेंगे कि तेजस्वी की MY और किसी का PY या A-Z समीकरण कहीं नजर नहीं आएगा: प्रशांत किशोर

IMG 20240613 WA0007

पटना: जन सुराज पदयात्रा के सूत्रधार प्रशांत ने मौजूदा समय में बिहार में अलग-अलग पार्टियों में हो रहे जातिवाद की बातें और उनपर राजनीतिक रोटी सेंक रहे नेताओं पर अपनी प्रतिक्रिया देते हुए हुए कहा कि राजनीति सिर्फ समीकरण की बात करने से नहीं होती बल्कि जनता का विश्वास जितना बहुत जरूरी है। प्रशांत किशोर ने आगे कहा कि अभी सरकार को बदले डेढ़ से 2 ही महीने हुए हैं और आप देख रहे होंगे कि बिहार से दिल्ली तक नेताओं में छटपटाहट होने लगी है।

ऐसा इसलिए हो पा रहा क्योंकि बिहार में जमीन में लोगों को जन सुराज की ताकत दिख रही है। मुझे अगर कोई धंधे बाज कह रहा है तो मैं बस इतना ही कहना चाहुंगा की हां मैं इस बार बिहार के लोगों और बिहार को सुधारने के लिए काम ले लिया है। हम बिहार इसबार जनता का ठेका लेकर आए हैं ताकि जनता के लिए काम कर सकें। अभी तरकस में कई तीर बाकी है। बिहार में कई लोग कह रहे हैं कि पदयात्रा हो गई अब क्या करेंगे तो मैं उनको बतला दूं कि अभी इससे बड़ा बुलेट दागना बाकी है।

जब हम पदयात्रा में आए थे तो 1 सौ से 50 लोगों के साथ आए थे मगर आज हज़ारों से भी ज्यादा लोग जन सुराज के साथ जुड़ गए हैं। बिहार के अन्य पार्टियों को समीकरण बनाने दीजिए कोई MY समीकरण बना रहा है कोई PY बना रहा है। कोई A to Z बना रहा है। आप देखियेगा 1 ही समीकरण होगा वो होगा जन बल का समीकरण। देश में जन बल के आगे कोई समीकरण नहीं है।

Kumar Aditya: Anything which intefares with my social life is no. More than ten years experience in web news blogging.