नदी के अंदर बना है माता का ये मंदिर…यहां तेल नहीं नदी के पानी से जलता है मैया रानी का अखंड दीपक
नदी के अंदर बना हुआ है माता का ये मंदिर…यहां तेल नहीं नदी के पानी से जलता है मंदिर का दीपक : आज हम आपको एक ऐसे अद्भुत मंदिर की कहानी सुनाने जा रहे हैं जिस पर लाखों करोड़ों लोगों की आस्था है. यहां रोज लाखों श्रद्धालु माता रानी का दर्शन करने आते हैं और पूजा अर्चना करने के बाद मनचाहा फल प्राप्त करते हैं. इस मंदिर के बारे में कहा जाता है कि यह मंदिर नदी के अंदर है…और यहां जो दीपक जलता है वकील से नहीं बल्कि पानी से जलता है।
जानकारी के लिए बता दें कि माता के इस मंदिर में दीपक जलाने के लिए घी की जरूरत नहीं होती है बल्कि मंदिर में पानी से ही दीपक जलता है। ये आज से कई सैकड़ों सालों से होता आ रहा है। जानकारी के लिए बता दें कि हम बात कर रहे है मध्य प्रदेश से शाहाजापुर जिले में स्थित गड़ियाघाट वाली माताजी के नाम से फेमस मंदिर की जो कालीसिंध नदी के किनारे आगरा मालवा के नलखेड़ा गांव से करीब 15 किलोमीटर की दूरी पर स्थित है। कहा जाता है कि इस मंदिर में पिछले कई साल से एक दीपक जल रहा है।
मंदिर के पुजारी ने बताया है कि ये जोत किसी भी तरह के ईधन से नहीं जल रही है बल्कि पानी से जल रही है। मंदिर के बारे में पुजारी सिद्धूसिंह बताते हैं कि पहले यहां हमेशा तेल का दीपक जला करता था, लेकिन करीब पांच साल पहले उन्हें माता ने सपने में दर्शन देकर पानी से दीपक जलाने के लिए कहा। मां के आदेश के अनुसार पुजारी ने वैसा ही किया।
माता के आदेश के अनुसार पुजारी ने कालीसिंद नदी से पानी भरा औऱ दीपक में डाला। जब उसको जलाने की कोशिश की गई तो वो जल गया।
जब ये चमत्कार हुई तो पुजारी घबरा गया औऱ कुछ महीनों तक किसी को भी कुछ नहीं बताया। महीनों बाद पुजारी ने गांव के लोगों को इस बारे में बताया। पहले तो किसी ने भी विश्वास नहीं किया लेकिन जब दीपक में पानी डालकर जोत जलाई गई तो सब हैरान रह गए।
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