भारत रत्न और बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री और जननायक कर्पूरी ठाकुर की पुण्यतिथि के अवसर पर आज सीएम नीतीश कुमार ने श्रद्धांजलि दी। और श्रद्धासुमन अर्पित किए। इस मौके पर मीडिया से बातचीत के दौरान मुख्यमंत्री नीतीश ने कहा कि वो विपक्षी गठबंधन के इंडिया नाम के पक्ष में नहीं थे। वो कोई दूसरा नाम देना चाहते थे। लेकिन वो लोग नाराज हो रहे थे।
एनसी प्रमुख फारूक अब्दुल्ला और आरएलडी प्रमुख जयंत चौधरी से इंडिया गठबंधन से अलग होने के सवाल पर नीतीश कुमार ने कहा कि हम तो बड़ी कोशिश किए थे। हम तो नाम भी वो नहीं दिए। हम नाम दूसरा दे रहे थे। तो वो लोग अपनी तरफ से नाम दे दिए। पहले वो लोग नाराज हो रहे थे। हम बोले छोड़िए। जो नाम हो दे दीजिए, लेकिन अब चल रहा है कुछ, खत्म ही हो गया।
सीएम नीतीश ने कहा कि हम कोशिश तो बहुत किए थे। जब अलग हट गए थे, तो सारी बात आप लोगों को बता दिए थे। हमा, अगला काम तो बिहार के लिए काम करना है, और करते रहेंगे। ब्ि में देखिए कितना काम हुआ है। एक-एक काम हुआ है। सब चीजों को और आगे बढ़ाते रहेंगे।
सीएम नीतीश ने कहा कि हम कोशिश तो बहुत किए थे। जब अलग हट गए थे, तो सारी बात आप लोगों को बता दिए थे। हमा, अगला काम तो बिहार के लिए काम करना है, और करते रहेंगे। ब्ि में देखिए कितना काम हुआ है। एक-एक काम हुआ है। सब चीजों को और आगे बढ़ाते रहेंगे।
आपको बता दें नीतीश कुमार : की पार्टी जेडीयू पहले इंडिया गठबंधन का ही हिस्सा थी। नीतीश कुमार ने ही विपक्षी एकता को एकजुट किया था। और विपक्षी गठबंधन बनाया था। लेकिन बाद में सीटों में बंटवारे की देरी, चुनावी रणनीति पर कोई काम न होने से नाराज होकर नीतीश कुमार ने विपक्षी गठबंधन से किनारा कर लिया था। और फिर बीजेपी के साथ मिलकर बिहार में एनडीए की नई सरकार का गठन किया है।
आपको बता दें नीतीश कुमार : की पार्टी जेडीयू पहले इंडिया गठबंधन का ही हिस्सा थी। नीतीश कुमार ने ही विपक्षी एकता को एकजुट किया था। और विपक्षी गठबंधन बनाया था। लेकिन बाद में सीटों में बंटवारे की देरी, चुनावी रणनीति पर कोई काम न होने से नाराज होकर नीतीश कुमार ने विपक्षी गठबंधन से किनारा कर लिया था। और फिर बीजेपी के साथ मिलकर बिहार में एनडीए की नई सरकार का गठन किया है।
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