BiharNational

आम महोत्सव में पहले दिन बिके 11 लाख के आम, जर्दालु की रही मांग

आम महोत्सव के पहले दिन शनिवार को ज्ञान भवन में विभिन्न जिलों से आए किसानों के आम को लोगों ने खूब पंसद किया। खास कर भागलपुरी जर्दालु आम को लोगों से हाथों हाथ लिया। बिना रसायन के प्रयोग किए हुए अच्छी क्वालिटी का आम मिलने ने लोगों ने जमकर खरीदारी की। आम बन कर बच्चे मंच पर उतरे तो लोगों ने खूब ताली बजाई। बच्चों के लिए आम खाओ प्रतियोगिता भी आयोजित की गई। महोत्सव के पहले ही दिन 11 लाख 13 हजार के आम और इसके पौधे तथा आम के उत्पाद बिके। इसमें 5.43 लाख के केवल आम ही बिके।

प्रथम पुरस्कार 5 हजार रुपए

नौ वर्गों में उत्कृष्ट प्रदर्शन करने वाले किसानों को प्रथम पुरस्कार 5 हजार, द्वितीय पुरस्कार 4 हजार और तृतीय पुरस्कार के तौर पर 3 हजार रुपए मिलेंगे। एक किसान को सभी वर्गों में सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन के लिए 10 हजार रुपए का विशिष्ट पुरस्कार और आम शिरोमणि की उपाधि मिलेगी। प्रदर्शनी के साथ ही कच्चा और पका आम की बिक्री होगी। आम के कलमी पौधे, आम का अचार, आम की कुल्पी और अन्य स्वादिष्ट आम उत्पादन देख और खरीद सकते हैं।

मधुबनी के किसान रवींद्र झा ने बताया कि वे 10 क्विंटल आम लेकर आए थे, पहले दिन 4 क्विंटल बिक्री हो गई। मल्लिका सब बिक गए। मालदह, बम्बइया, कृष्णभोग, जर्दा, जर्दालु, गुलाबखास की भी अच्छी बिक्री हुई।

भागलपुर के किसान आदित्य ने बताया कि 6 क्विंटल 50 कलो आम की बिक्री हुई। इसमें सबसे अधिक 3 क्विंटल जर्दालु आम बिके। सीतामढ़ी के किसान विक्रम कुमार सिंह ने कहा कि वे दो एकड़ में मालदह, जर्दा, जर्दालु, प्रभाकर, अल्फांसो, चौसा, नीलम, कृष्णभोग, हेमसागर, मल्लिका सहित 40 से अधिक वेराइटी के आम की खेती करते हैं। सभी आम की बिक्री आसानी से हो जाती है। आम महोत्सव के दूसरे दिन रविवार को आम को लेकर चित्रकला प्रतियोगिता के बाद तीनों प्रतियोगिता के रिजल्ट जारी किए जाएंगे। अगात किस्मों, मध्यकालीन किस्मों, पिछात किस्मों, संकर किस्मों, रंगीन किस्मों और बीजू आम के 4003 प्रदर्श लगे हैं।

राज्य में 15.76 लाख टन आम उत्पादन

बिहार में 1.63 लाख हेक्टेयर में आम की बागवानी है। 15.76 लाख टन का उत्पादन होता है। कलस्टर में फलों की खेती के लिए किसानों का एक से दो लाख रुपए प्रति एकड़ की दर से सहायता अनुदान का भी प्रावधान है। अगात किस्मों में जर्दालु, मिठुआ, गुलाब खास, सुर्ख वर्मा, सुन्दर प्रसाद, जरदा, बम्बई, रानी पसंद, गोपालभोग आदि के 1357 प्रदर्श प्रदर्शित किया गया है। मध्यकालीन किस्मों में लंगड़ा (मालदा), हेमसागर, अमन इब्राहिमपुर, कृष्णभोग, अलफांसो, दशहरी, हुस्न-ए-आरा, खासुलखास, बेनजीर, आबेहयात आदि के 1367 प्रदर्श हैं। पिछात किस्मों में फजली, सुकूल, सीपिया, समरबहिस्त, चौसा, तैमूरिया, की 667 प्रदर्श हैं। संकर किस्म में महमूद बहार, प्रभाशंकर, मल्लिका, आम्रपाली आदि के 586 प्रदर्श हैं।


Discover more from Voice Of Bihar

Subscribe to get the latest posts sent to your email.

Kumar Aditya

Anything which intefares with my social life is no. More than ten years experience in web news blogging.

Discover more from Voice Of Bihar

Subscribe now to keep reading and get access to the full archive.

Continue reading

मत्स्य पालन और जलीय कृषि में ड्रोन प्रौद्योगिकी के अनुप्रयोग और प्रदर्शन पर कार्यशाला आयोजित बिहार में बाढ़ राहत के लिए भारतीय वायु सेना ने संभाली कमान बिहार के बाढ़ग्रस्त क्षेत्रों का हवाई सर्वेक्षण करने रवाना हुए सीएम नीतीश पति की तारीफ सुन हसी नही रोक पाई पत्नी भागलपुर में खुला पटना का फैमस चिका लिट्टी