आप ‘कार’ लेने की सोच रहे हैं ? …तो अपनाएं 20×4×10 का फॉर्मूला, जो इसे अपना लिया वह सस्ती गाड़ी घर लाएगा …

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अगर आप कार लेना चाहते हैं…लोन से लेना चाहते हैं तो आपको यह फार्मूला अपनाना चाहिए। भारत में अधिकांश लोग बिना प्लानिंग के ही कार लोन लेते हैं . बाद में ईएमआई के बोझ तले ऐसे दब जाते हैं कि कार मुसीबत का सबब बन जाती है. आदमी टेंशन में आ जाता है. अगर आप 20×4×10 फॉर्मूला अपनाते हैं, तो आप सफल हो सकते हैं.  आपको न सिर्फ सस्ती कार मिलेगी, बल्कि बिना ज्यादा दबाव के इसे खरीद भी सकेंगे.

अगर आप लोन पर कार खरीदना चाहते हैं कि कितना डाउन पेमेंट करना चाहिए, वेतन का कितना फीसदी लोन लेना चाहिए, और कितने महीने के लिए लोन लेना चाहिए? स्मार्ट वित्तीय़ स्ट्रैटेजी यही है कि कार खरीदते समय 20 फीसदी डाउन पेमेंट करनी चाहिए. 20 फीसदी डाउन पेमेंट करने से आपको काफी फायदा मिलेगा. इससे आपका लोन अमाउंट कम होगा और ब्याज में भी बचत होगी. इसे कहते हैं 20% वाला फार्मूला.

वहीं,  कार लोन की अवधि 4 साल से अधिक नहीं रखना चाहिए. यानि 48 महीने में आप कार लोन की राशि चुकता कर दें. ज्यादा लंबे समय तक लोन लेने पर ब्याज का बोझ बढ़ जाता है. कम अवधि का लेन लेने पर ब्याज की राशि में बचत होती है.इसे कहते हैं 4 फीसदी वाला फार्मूला.

अगर आप वेतनभोगी हैं तो आपकी मासिक आय का ईएमआई 10 फीसदी रखनी चाहिए। सैलरी के 10% से ज्यादा इएमआई नहीं होनी चाहिए. इससे आप पर बोझ नहीं पड़ेगा. अन्य वित्तीय जरूरतें भी आसानी से पूरी हो सकेंगी. यह हुआ 10 फीसदी वाला फार्मूला.

अगर आप 10 लाख रू तक की कार खरीदना चाहते हैं तो 20×4×10 फॉर्मूले को फॉलो करें. ऐसे में आप  20 फीसदी डाउन पेमेंट यानि 2 लाख रुपये का भुगतान करें. 8 लाख रुपये का लोन 4 साल में चुकाने की सोचें. आपकी सैलरी 50,000 रु है, तो आपकी ईएमआई 5,000 होनी चाहिए. इससे ज्यादा होने पर आप वित्तीय बोझ तले दब सकते हैं.

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