भागलपुर। मायागंज अस्पताल के ईएनटी विभाग ने चिकित्सा क्षेत्र में एक नया इतिहास रचते हुए बिना चीर-फाड़ के कान के पर्दे का इलाज कर दिखाया। रविवार को आयोजित 12वें लाइव एंडोस्कोपिक ईयर सर्जरी एंड टेम्पोरल बोन डिसेक्शन वर्कशॉप के तहत पहली बार एंडोस्कोपिक स्कारलेस टिम्पैनोप्लास्टी तकनीक का सफल प्रदर्शन किया गया।
पुणे के प्रसिद्ध ईएनटी विशेषज्ञ डॉ. मुबारक खान ने मोजाहिदपुर निवासी 30 वर्षीय चंदा कुमारी के कान के फटे पर्दे को एंडोस्कोपिक सर्जरी के जरिए सफलतापूर्वक ठीक किया। इस ऐतिहासिक सर्जरी के साक्षी बने मायागंज अस्पताल के ईएनटी विभागाध्यक्ष डॉ. धर्मेंद्र कुमार सिंह, पूर्व विभागाध्यक्ष डॉ. एसपी सिंह और डॉ. अश्विनी कुमार वर्मा सहित कई वरिष्ठ डॉक्टर।
बिना चीर-फाड़ सर्जरी की शुरुआत
डॉ. धर्मेंद्र कुमार सिंह ने जानकारी दी कि अब मायागंज अस्पताल में कान से संबंधित विभिन्न रोगों का इलाज बिना पारंपरिक चीर-फाड़ वाली सर्जरी के जरिए संभव होगा। इससे मरीजों को दर्द व जोखिम दोनों से काफी राहत मिलेगी।
2008 से जारी है शैक्षणिक कार्यशालाओं की परंपरा
उन्होंने बताया कि ईएनटी विभाग और एओआई भागलपुर शाखा के संयुक्त तत्वावधान में वर्ष 2008 से लगातार युवा सर्जनों के कौशल विकास के लिए इस तरह की शैक्षणिक कार्यशालाओं का आयोजन किया जा रहा है। इस मौके पर बड़ी संख्या में चिकित्सा जगत से जुड़े लोग मौजूद रहे।