बढ़ती महंगाई में मूर्तिकारों की माली हालत हो रही खराब, डूब रहे कर्ज में
भागलपुर हिंदू धर्म में मूर्ति पूजा का एक अलग ही महत्व है चाहे दीपावली हो काली पूजा हो दुर्गा पूजा हो सरस्वती पूजा हो या फिर विश्वकर्मा पूजा किसी भी आयोजन में मूर्ति पूजा काफी मायने रखता है और हर मंदिरों में इसकी स्थापना कर प्राण प्रतिष्ठा कर नेम निष्ठा से पूजा की जाती है वही मूर्ति बनाने वाले कुम्हार पंडित की स्थिति काफी दयनीय होती जा रही है, चालीस वर्षों से मूर्ति बनाने का काम कर रहे अंबे के रंजीत पंडित ने बताया कि हम लोग के पूर्वजों से चली आ रही यह मूर्ति बनाने का व्यवसाय अब दयनीय स्थिति में जा रहा है मूर्ति तो बनते जा रहे हैं लेकिन हम लोगों को उसकी उचित कीमत नहीं मिल पा रही, पुवाल बांस सुतली सबों का नाम हद से ज्यादा बढ़ता चला जा रहा है, हम लोगों को पर्याप्त मेहनताना नहीं मिल पा रहा जिसके चलते हम लोगों की माली हालत काफी खराब होती जा रही है सभी चीजों का दाम बढ़ गया है पहले इतनी परेशानी नहीं होती थी अब गंगा की मिट्टी भी काफी महंगे दामों में मिल रहा है जिसके चलते हम लोग काफी परेशान हैं और पारिवारिक स्थिति काफी दयनीय होती जा रही है हम मूर्तिकारों पर सरकार भी विशेष पहल नहीं कर रही है अगर सरकार ध्यान दे तो हम लोगों की माली हालत सुधर सकती है वहीं उन्होंने यह भी बताया कि हम लोगों के पिताजी उनिष सौ चौवन से यह काम लगातार करते आ रहे हैं उसी को आगे बढ़ाने का जिम्मा मैंने लिया है लेकिन अब संभव नहीं हो पा रहा है। हम लोग कर्ज में डूबते चले जा रहे हैं।