वित्तमंत्री निर्मला सीतारमण ने बजट में बिहार के लिए कई बड़े ऐलान किए हैं। बिहार को स्पेशल स्टेट्स दर्जे की मांग के बीच सरकार के ऐलान काफी महत्वपूर्ण हैं। आपको बता दें कि बजट सत्र के पहले दिन ही वित्त राज्य मंत्री पंकज चौधरी ने एक लिखित जवाब में कहा था कि बिहार को विशेष राज्य का दर्जा नहीं दिया जा सकता। इसके बाद जेडीयू के नेताओं ने प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि स्पेशल स्टेट्स नहीं तो स्पेशल पैकेज ही मिल जाए! अब वित्तमंत्री ने बजट में बिहार के स्पेशल ऐलान किए हैं।
वित्तमंत्री ने बिहार के ऐलान करते हुए कहा कि सड़क-संपर्क परियोजनाओं के लिए 26 हजार करोड़ रुपये दिए जाएंगे। इसके तहत पटना-पूर्णिया एक्सप्रेसवे, बक्सर-भागलपुर एक्सप्रेसवे का विकास होगा। साथ ही बोधगया, राजगीर, वैशाली और दरभंगा सड़क-संपर्क परियोजनाओं का भी विकास होगा। वित्तमंत्री ने कहा कि बक्सर में गंगा नदी पर दो लेन का एक अतिरिक्त बुनाया जाएगा।
बिहार को विद्युत परियोजनाएं
वित्तमंत्री ने बिहार में 21 हजार 400 करोड़ की लागत से विद्युत परियोजनाएं शुरू की जाएंगी। इसके तहत पिरपैंती में 2400 मेगावॉट का एक विद्युत संयंत्र लगाया जाएगा। साथ ही राज्य में नए एयरपोर्ट, मेडिकल कॉलेज और खेलकूद के लिए बुनियादी ढांचे का विकास किया जाएगा। राज्य सरकार को पूंजीगत निवेश में सहायता के लिए अतिरिक्त आवंटन उपलब्ध कराया जाएगा। बहुपक्षीय विकास बैंकों के माध्यम से भी राज्य सरकार को फंड दिया जाएगा।
इसके साथ ही केंद्र सरकर ने ‘पूर्वोदय’ नाम से एक स्पेशल प्रोजेक्ट शुरू करने का ऐलान किया है। इस प्लान के जरिए बिहार, झारखंड, पश्चिम बंगाल, ओडिशा और आंध्र प्रदेश के विकास पर फोकस किया जाएगा। साथ ही केंद्र सरकार पूर्वोत्तर क्षेत्र में एक इंडस्ट्रियल कॉरिडोर के विकास पर काम करेगी।
वित्तमंत्री ने कहा कि बिहार अक्सर बाढ़ से पीड़ित रहता है। नेपाल में बाढ़ नियंत्रण संरचनाओं के निर्माण की योजना अभी तक प्रगति पर नहीं है। हमारी सरकार 11,500 करोड़ रुपये की अनुमानित लागत से वित्तीय सहायता प्रदान करेगी।
पर्यटन के मामले में भी बिहार पर रहेगा फोकस
वित्तमंत्री ने पर्यटन के मामले में भी बिहार पर खास फोकस किया है। वित्तमंत्री ने कहा कि गया स्थित महाबोधि मंदिर के लिए कॉरिडोर निर्मित किया जाएगा। इसके साथ ही गया के विष्णुपद मंदिर के लिए भी कॉरिडोर बनेगा। इसका विकास काशी विश्वनाथ कॉरिडोर की तर्ज पर किया जाएगा। राजगीर भी बौद्ध और जैन श्रद्धालुओं के लिए महत्वपूर्ण है। इसके तहत राजगीर के तीर्थ क्षेत्रों का भी विकास किया जाएगा। नालंदा को भी पर्यटन केंद्र के रूप में विकसित किया जाएगा।