Voice Of Bihar

खबर वही जो है सही

हेमंत सोरेन की गिरफ्तारी को CM स्टालिन ने बताया- अपमानजनक और शर्मनाक, जानें क्या कहा

ByKumar Aditya

फरवरी 2, 2024
GridArt 20240202 134937795 scaled

झारखंड की सियासत में बड़ा उलटफेर हो गया है। प्रदेश के मु्ख्यमंत्री रहे हेमंत सोरेन को प्रवर्तन निदेशालय (ED) ने कथ‍ित जमीन घोटाले से जुड़े मनी लॉन्ड्रिंग के आरोपों को लेकर पूछताछ के बाद बुधवार को गिरफ्तार कर लिया। गिरफ्तारी से ठीक पहले हेमंत सोरेन ने झारखंड के मुख्यमंत्री पद से इस्तीफा दे दिया था। झारखंड के अगले सीएम चंपई सोरेन होंगे, लेकिन उन्होंने अभी पद की शपथ नहीं ली है। हेमंत सोरेन की गिरफ्तारी पर तमिलनाडु के मुख्यमंत्री एमके स्टालिन की प्रतिक्रिया सामने आई है।

“सत्ता के दुरुपयोग का पता चलता है”

स्टालिन ने ईडी की ओर से झारखंड मुक्ति मोर्चा (JMM) के नेता हेमंत सोरेन को गिरफ्तार किए जाने की निंदा की। उन्होंने कहा कि इससे केंद्र की बीजेपी सरकार की हताशा और सत्ता के दुरुपयोग का पता चलता है। स्टालिन ने सोरेन की गिरफ्तारी को निंदनीय और शर्मनाक बताते हुए बीजेपी पर निशाना साधा और कहा कि विपक्ष उसके कृत्यों से नहीं डरेगा। सोरेन को कथित भूमि घोटाले से जुड़े धनशोधन मामले में ईडी ने कई घंटे की पूछताछ के बाद बुधवार रात गिरफ्तार कर लिया था।

“विपक्ष की आवाज को चुप नहीं करा पाएगी”

स्टालिन ने सोशल मीडिया मंच ‘एक्स’ पर एक पोस्ट में कहा, ‘‘हेमंत सोरेन की गिरफ्तारी केंद्र की बीजेपी सरकार के राजनीतिक प्रतिशोध का एक स्पष्ट प्रदर्शन है। किसी आदिवासी नेता को परेशान करने के लिए जांच एजेंसियों का इस्तेमाल करना निम्न स्तर का कृत्य है। इस कृत्य से हताशा और सत्ता के दुरुपयोग का पता चलता है। बीजेपी की गंदी रणनीति विपक्ष की आवाज को चुप नहीं करा पाएगी।” उन्होंने कहा, “बीजेपी की प्रतिशोध वाली राजनीति के बावजूद हेमंत सोरेन झुकने से इनकार करते हुए मजबूती के साथ खड़े हैं। विपरीत परिस्थितियों में उनका जज्बा सराहनीय है। बीजेपी की डराने-धमकाने वाली रणनीति के खिलाफ लड़ने का उनका दृढ़ संकल्प एक प्रेरणास्रोत है।”

बिहार के बाद झारखंड की राजनीति में भूचाल

बता दें कि कुछ दिन पहले बिहार में महागठबंधन की सरकार गिरी। नीतीश कुमार ने बीजेपी के साथ हाथ मिलाकर नई सरकार बना ली। इस तरह नीतीश कुमार सुबह मुख्यमंत्री पद से इस्तीफा देकर उसी दिन शाम में एक बार फिर बिहार के मुख्यमंत्री पद की शपथ भी ले ली। इसके 72 घंटे बाद ही ऐसी स्थिति बिहार के पड़ोसी राज्य झारखंड में बनी। हालांकि, झारखंड में राजनीतिक उथल-पुथल की वजह बिहार से अलग है।