पार्सल में ड्रग्स समेत अन्य आपत्तिजनक सामान होने का डर दिखाकर साइबर ठगों ने सेवानिवृत्त मेजर जनरल को पांच दिन तक डिजिटल अरेस्ट कर दो करोड़ रुपये ऐंठ लिए। पीड़ित की शिकायत पर साइबर क्राइम थाने की पुलिस उन खातों की जांच कर रही है, जिनमें ठगी की रकम ट्रांसफर हुई है।
सेक्टर-31 निवासी सेवानिवृत्त मेजर जनरल एनके धीर ने शिकायत में बताया कि बीते 10 अगस्त को उनके पास डीएचएल कुरियर सर्विस का कर्मचारी बताते हुए अनजान नंबर से कॉल आई। कथित कर्मचारी ने बताया कि उनके आधार कार्ड का इस्तेमाल कर एक पार्सल ताइवान भेजा जा रहा है, जिसमें पांच पासपोर्ट, चार क्रेडिट कार्ड, कपड़े, 200 ग्राम एमडीएमए (ड्रग्स) और एक लैपटॉप समेत अन्य अवैध सामान हैं। इसके बाद व्हाट्सऐप कॉल के जरिए अजय कुमार बंसल नाम के कथित मुंबई पुलिस के अधिकारी से उनको जोड़ा गया। कॉल पर मौजूद व्यक्ति उन्हें देख रहा था पर इधर से कुछ भी नहीं दिख रहा था।
जेल भेजने का डर दिखाया पीड़ित से कहा गया कि अगर उन्हें जेल जाने से बचना है तो पूछताछ से जुड़ी जानकारी परिवार से साझा न करें। कैमरे के जरिए ठग उन पर नजर जमाए रहे। इस दौरान दावा किया कि सेवानिवृत्त मेजर जनरल पर कभी भी हमला हो सकता है।
इसके बाद डीसीपी राजपूत बने ठग ने पीड़ित से म्यूचुअल फंड और एफडी तोड़कर रकम विभिन्न खातों में ट्रांसफर करने को कहा। जेल के डर से उन्होंने बैंक जाकर विभिन्न खातों में रकम ट्रांसफर की।
लोन लेने का दबाव भी बनाया गया
ठगों ने पीड़ित को झांसा दिया था कि जांच के बाद पूरी रकम उनके खाते में वापस ट्रांसफर कर दी जाएगी। इसके बाद जब लोन लेकर पैसे ट्रांसफर करने का दबाव बनाया गया तो पीड़ित को ठगी की आशंका हुई और उन्होंने पुलिस से संपर्क किया।