महाराष्ट्र के बुलढाणा जिले के खामगांव तालुका के अवार गांव में होली के शुभ अवसर पर एक अप्रत्याशित घटना घटी, जिसने त्योहार की खुशियों को काले बादलों से घेर दिया। डीजे संगीत बजाने को लेकर हुए विवाद ने दो गुटों के बीच हिंसक रूप ले लिया, जिससे गांव में तनाव का माहौल पैदा हो गया। घटना का विवरण: होली के दिन अवार गांव में डीजे संगीत बजाने को लेकर दो गुटों के बीच विवाद उत्पन्न हो गया। यह विवाद धीरे-धीरे बढ़ता गया और दोनों पक्षों ने एक-दूसरे पर पत्थराव करना शुरू कर दिया। स्थिति इतनी बिगड़ गई कि गांव में अफरा-तफरी मच गई, और लोग अपने घरों में सुरक्षित स्थान की तलाश करने लगे। पुलिस की त्वरित कार्रवाई: घटना की सूचना मिलते ही, स्थानीय पुलिस तुरंत मौके पर पहुंची। पुलिस ने तत्परता दिखाते हुए स्थिति को नियंत्रित करने के लिए आवश्यक कदम उठाए और हिंसा में शामिल 20 व्यक्तियों को गिरफ्तार किया। पुलिस की इस त्वरित कार्रवाई से गांव में शांति स्थापित करने में मदद मिली। वर्तमान स्थिति: पुलिस की सक्रियता के चलते अब गांव में स्थिति नियंत्रण में है। स्थानीय पुलिस अधिकारियों की उपस्थिति से गांववासियों में सुरक्षा की भावना बनी हुई है, और जनजीवन धीरे-धीरे सामान्य हो रहा है। सामाजिक प्रतिक्रिया: इस घटना ने गांव के बुजुर्गों और समाजसेवियों को चिंतित कर दिया है। उन्होंने युवाओं से शांति और संयम बनाए रखने की अपील की है, ताकि भविष्य में ऐसे विवादों से बचा जा सके। साथ ही, उन्होंने त्योहारों के दौरान आपसी समझ और सहयोग पर जोर दिया है। प्रशासन की अपील: स्थानीय प्रशासन ने गांववासियों से अफवाहों पर ध्यान न देने और शांति बनाए रखने की अपील की है। उन्होंने कहा है कि कानून अपने तरीके से काम करेगा, और दोषियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी। अवार गांव की यह घटना हमें सिखाती है कि त्योहारों का उद्देश्य खुशियां बांटना और समाज में एकता स्थापित करना है। ऐसे में, हमें आपसी मतभेदों को भुलाकर मिलजुल कर त्योहार मनाना चाहिए, ताकि समाज में शांति और सद्भाव बना रहे।
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