ईडी की रिमांड अवधि खत्म, होटवार जेल भेजे गये आलमगीर आलम
झारखंड के ग्रामीण विकास विभाग के मंत्री आलमगीर आलम को टेंडर कमीशन मामले में ईडी ने14 दिन के रिमांड पर लिया था। 14 दिनों तक आलम से पूछताछ की गयी। आज रिमांड अवधि खत्म होने के बाद आलमगीर को होटवार जेल भेज दिया गया।
रिमांड अवधि खत्म होने के बाद पहले पीएमएलए कोर्ट आलम को लाया गया। जहां कोर्ट ने उन्हें न्यायिक हिरासत में बिरसा मुंडा केंद्रीय कारा भेज दिया। बता दें कि 15 मई को उनकी गिरफ्तारी हुई थी। जिसके बाद ईडी ने रिमांड पर लिया था। आलमगीर आलम के परसनल सेक्रेटरी संजीव लाल समेत 9 ठिकानों पर ईडी ने 5 मई को रेड मारा था। तब संजीव लाल के निजी सहायक जहांगीर आलम और मुन्ना सिंह के ठिकानों से करीब 37 करोड़ कैश बरामद किया गया। इतनी बड़ी संख्या में कैश मिलने के बाद संजीव लाल और जहांगीर को गिरफ्तार किया गया।
उधर झारखंड के ग्रामीण विकास विभाग के मंत्री आलमगीर आलम को 12 मई को समन भेजा था और 14 मई को पूछताछ के लिए बुलाया था। आलमगीर आलम 14 मई को ईडी दफ्तर पहुंचे तब 9 घंटे तक उनसे पूछताछ हुई। जिसके बाद अगले दिन ईडी ने फिर पूछताछ के लिए बुलाया। 6 घंटे की पूछताछ के बाद 15 मई को ED ने आलमगीर आलम को गिरफ्तार कर लिया। जिसके बाद ईडी ने उन्हें 14 दिनों के रिमांड पर लिया। जिसकी अवधि आज खत्म हो गयी जिसके बाद उन्हें जेल भेज दिया गया।
बता दें कि झारखंड के ग्रामीण विकास विभाग के मंत्री आलमगीर आलम के नौकर के घर से ईडी ने छापेमारी के दौरान कुछ दस्तावेज बरामद किया था। जिसमें मंत्री आलमगीर के अलावे कई और लोगों को कमीशन दिये जाने की बात सामने आई थी। ग्रामीण विकास विभाग के टेंडर में कमीशन लिया जाता था। 2024 में जो कमीशन लिया गया उसकी लेन देन की पूरी लिस्ट ईडी के हाथ लगी थी।
छापेमारी के दौरान ईडी को यह दस्तावेज मंत्री के नौकर के घर से मिला था। फिलहाल ईडी कमीशन के पूरे खेल को सुलझाने में जुटी है। मंत्री आलमगीर के लिए एम और एच कोड का इस्तेमाल होता था जिसमें कई और लोगों को कमीशन पहुंचता था। अब इन दस्तावेजों के आधार पर ईडी कमीशन देने और लेने वालों की कुंडली खंगाल रही है।
ईडी मंत्री आलमगीर आलम के साथ-साथ उनके परसनल सेक्रेटरी संजीव लाल और लाल के निजी सहयोगी जहांगीर आलम को भी रिमांड में लेकर पूछताछ की। बता दें कि 5 मई 2024 को झारखंड के ग्रामीण विकास मंत्री आलमगीर आलम के ओएसडी और उनके नौकर जहांगीर आलम के घर में दो दिन तक छापेमारी की गई थी जिसमें 37 करोड़ से ज्यादा का कैश बरामद हुआ था। इस दौरान कई अहम दस्तावेज भी मिला था। जिसमें कमीशन किस-किस को जाता था इस बात का जिक्र है। ईडी ने कोर्ट में दिये गये मंत्री के रिमांड पिटीशन में यह दावा किया था कि मंत्री आलमगीर आलम को 1.50% कमीशन मिलता था। इस बात की जानकारी ग्रामीण विकास विभाग के पूर्व चीफ इंजीनियर वीरेंद्र राम ने भी दी थी।