बिहार में करीब 7 साल से शराबबंदी है लेकिन आए दिन शराब पीने वाले और बेचने वाले पकड़े जा रहे हैं। लाखों करोड़ो रुपये का शराब भी पकड़ा जा रहा है। बिहार में 2017 से शराबबंदी लागू है इसके बावजूद ना तो पीने वाले सुधरने का नाम ले रहे हैं और ना ही बेचने वाले भी अपनी आदतों से बाज आ रहे हैं। इसे देख अब लोग यह कहने लगे हैं कि बिहार में शराबबंदी फेल है। अब तो बिहार में शराबंदी के बाद नसबंदी भी फेल नजर आ रहा है।
हम बात मुजफ्फरपुर की कर रहे हैं जहां परिवार नियोजन की पोल खुल गई है। यहां ऑपरेशन के बाद एक महिला एक नहीं बल्कि तीन बार प्रेग्नेंट हो गयी। यह सुनने में आपको भी अजीब लग रहा होगा लेकिन यह बात सच है। महिला के पति ने जब इस बात की शिकायत की तब तत्कालीन सिविल सर्जन ने 6 हजार रुपये मुआवजा भी दिया।
हैरान कर देने वाला मामला मुजफ्फरपुर के गायघाट थाना क्षेत्र का है जहां एक दंपती की शादी 20 साल पहले हुई थी जिसके बाद दोनों के चार बच्चे हुए। 2015 में गायघाट पीएचसी में लगे कैंप में महिला ने परिवार नियोजन का ऑपरेशन कराया। लेकिन ऑपरेशन के तीन साल बाद 2018 में महिला फिर से प्रेग्नेंट हो गयी। तब पति ने इसकी सूचना तत्कालीन सिविल सर्जन को दी। पति ने बताया कि परिवार नियोजन का ऑपरेशन कराने के बाद भी पत्नी प्रेंग्नेंट हो गयी।
जिसके बाद सिविल सर्जन ने इसे गंभीरता से लिया और मामले की जांच के आदेश दिये। जांच चल ही रही थी कि उसकी पत्नी ने बेटे के जन्म के बाद फिर दो साल बाद बेटी को जन्म दिया। महिला का पति फिर सिविल सर्जन से इस बात की शिकायत की तब सिविल सर्जन ने मुआवजे के रूप में 6 हजार रुपया महिला को दिया। लेकिन तीन साल बाद 2023 में महिला फिर गर्भवती हो गयी लेकिन अभी तक ना तो जांच रिपोर्ट सामने आया और ना ही इस मामले में कोई कार्रवाई की गयी।
इस मामले पर प्रभारी सिविल सर्जन का कहना है कि महिला का नसबंदी उनके समय में नहीं हुआ है इसलिए इस बात की उन्हें कोई जानकारी नहीं है। इसके बावजूद मामले को पता करते हैं इसकी जांच कराते हैं। जो भी दोषी होंगे उन पर कार्रवाई की जाएगी।