किसी हिरो के लिए इतना दिवानापन आपने शायद ही पहले कभी सुना होगा। हम बात कर रहे हैं उज्जैन के एक शख्स के बारे में जिसे फिल्म गदर और अभिनेता सनी देओल इतने पसंद थे कि एक समय में वह गदर मूवी देखने हर रोज थिएटर जाया करते थे। इस शख्स का नाम था लक्ष्मीनरायण जो उज्जैन के बकानिया के रहने वाले थे। लक्ष्मीनारायण को गदर-2 फिल्म के बारे में जब पता चला तो वह इस फिल्म को देखने के लिए बहुत ही बेकरार थे। लेकिन दुख इस बात का है कि गदर-2 रिलीज होने से 1 साल पहले लक्ष्मीनरायण का निधन हो गया और गदर-2 देखने का उनका सपना बस सपना ही रह गया।
पिता के सपनों को बेटे ने किया पूरा
उनके इस सपने को पूरा किया उनके बेटे धर्मेंद्र ने। जिन्होंने गदर-2 मूवी रिलीज होने के अपने पिता जी की याद में पूरे गांव को मूवी दिखाने सिनेमा हॉल ले गए। उसके लिए उन्होंने 60 हजार रुपए खर्च किए। धर्मेंद्र के गांव से 20 ट्रैक्टर, कार और बाइक पर सवार होकर, गदर फिल्म के गानों के साथ 280 लोग नाचते हुए सिनेमा हॉल मूवी देखने पहुंचे। जब हॉल भर गया तो गांव के बचे लोग 27 किलोमीटर दूर सांवेर गांव में स्थित एक सिनेमा हॉल में देखने गए। दर्मेंद्र ने बताया कि जब हमने PVR को कॉल किया तो पता चला कि अब कोई स्लॉट खाली नहीं है इसलिए हमलोगों ने 27 किलोमीटर दूर सांवेर गांव में एक सिनेमा हॉल बुक किया। मूवी देखने जाने से पहले उज्जैन में DJ पर सभी गाव वाले जमकर नाचे फिर सभी सिर पर साफा पहनकर मूवी देखने गए।
गांव के मंदिर में रोज चलती थी गदर मूवी
धर्मेंद्र के पिता लक्ष्मीनरायण सनी देओल के इतने बड़े फैन थे कि उन्होंने गदर देखने के बाद सनी देओल के गदर वाले गेटअप में ही रहना शुरु कर दिया था। वह 21 साल तक इसी गेटअप में रहे। धर्मेंद्र बताते हैं कि उनके पिता ने साल 2001 में गदर फिल्म देखी थी। उस फिल्म को देखने के बाद सनी देओल उन्हें इतने पसंद आ गए कि वह हर रोज गदर मूवी देखने जाने लगे। इसके बाद वह एक टीवी और VCR लेकर आएं और उन्होंने उसे अपने गांव के मंदिर में लगवा दिया। जहां पर हर रोज गदर मूवी चलती थी। लक्ष्मीनरायण अक्सर सनी देओल की तरह पोज देकर फोटोशूट करवाते थे।