ट्रांसफर होने के बाद राजस्व एवं भूमि सुधार विभाग की फाइलें और कंप्यूटर लेकर फरार होने वाली पटना सदर की पूर्व डीसीएलआर के खिलाफ सरकार ने बड़ा एक्शन ले लिया है। बैक डेट में फाइलों का निपटरा करने वाली महिला अधिकारी को राजस्व एवं भूमि सुधार विभाग ने सस्पेंड करने की सिफारिश कर दी है। इसके साथ ही उनके खिलाफ अनुशासनात्मक कार्रवाई की अनुशंसा कर दी गई है।
दरअसल, पटना सदर की डीसीएलआर मैत्री सिंह के खिलाफ लगातार मिल रही शिकायतों के बाद राजस्व एवं भूमि सुधार विभाग ने उनका तबादला कर दिया था। ट्रांसफर के बाद मैत्री सिंह जमीन विवाद से जुड़े मामलो की करीब साढ़े सात सौ सरकारी फाइलें और ऑफिस में लगा कंप्यूटर लेकर फरार हो गई थीं और बैक डेट में फाइलों का निपटारा कर आदेश पारित कर रही थीं।
मामला सामने आने के बाद पटना डीएम चंद्रशेखर सिंह ने एक जांच कमेटी का गठन किया था। इस जांच कमेटी ने पिछले दिनों अपनी रिपोर्ट डीएम को सौंप दिया था और मैत्री सिंह पर गंभीर आरोप लगाए थे। डीएम डॉ. चंद्रशेखर सिंह के निर्देश पर गठित जांच कमेटी ने अपनी रिपोर्ट में पाया है कि मैत्री सिंह ने अपने स्थानांतरण के बाद भी लगभग 200 फाइलों का बैकडेट में निपटारा किया था।
जांच के दौरान यह बात भी सामने आई कि डीसीएलआर कार्यालय में बिचौलियों के माध्यम से फाइलों का निपटारा किया जाता था। कमेटी ने पूर्व डीसीएलआर मैत्री सिंह को इस मामले में दोषी मानते हुए उनके खिलाफ कड़ी कार्रवाई करने की सिफारिश की थी। कमेटी की सिफारिश को स्वीकार करते हुए विभाग ने मैत्री सिंह को सस्पेंड करने का अनुसंशा कर दिया है। विभाग के अपर मुख्य सचिव दीपक कुमार सिंह ने महिला अधिकारी के खिलाफ अनुशासनात्मक कार्रवाई के लिए सामान्य प्रशासन विभाग को पत्र लिखा है।