बिहार के बेगूसराय में भाजपा के फायर ब्रांड नेता और पूर्व केन्द्रीय मंत्री गिरिराज सिंह जीत की ओर अग्रसर है. गिरिराज सिंह अपने प्रतिद्वंद्वी अवधेश राय से करीब 70 हजार मतों से आगे चल रहे हैं. उनकी इस बढ़त पर गिरिराज सिंह को बधाई देने वालों का ताता लगा हुआ है।
‘विकास हमारा एजेंडा’: वहीं, इस दौरान गिरिराज सिंह ने मीडिया से बात करते हुए इस बार के परिणाम पर चिंता व्यक्त की है. उन्होंने कहा है कि आज देश में जो परिणाम आए है वो सिरोधार है. लेकिन ये परिणाम उम्मीद से विपरीत आया है. विकास उनका एजेंडा था, है और आगे भी रहेगा।
“बिहार में बीजेपी को जो परिणाम आए हैं वह उम्मीद के विपरीत हैं. फिर भी मैं बिहार की जनता को धन्यवाद देता हूं. जिन्होंने बीजेपी को अपना मत दिया उनका निर्णय शिरोधार्य है. लेकिन हमे आत्मचिंतन करने की जरुरत है. मैं इसपर चिंतन करूंगा.” – गिरिराज सिंह, एनडीए प्रत्याशी
कभी कांग्रेस का था गढ़ : बेगूसराय लोकसभा सीट कभी कांग्रेस का गढ़ हुआ करती थी. 1952 से 2019 तक इस लोकसभा सीट के लिए कुल 17 चुनाव हुए हैं, जिनमें 9 बार कांग्रेस ने जीत दर्ज की है. पिछले तीन चुनावों पर नजर डालें तो 2009 में NDA के जेडीयू उम्मीदवार मोनाजिर हसन ने सीपीआई के शत्रुघ्न प्रसाद सिंह को हराकर जीत दर्ज की थी. 2014 में जेडीयू और बीजेपी ने अलग-अलग चुनाव लड़ा. बीजेपी उम्मीदवार भोला प्रसाद सिंह ने आरजेडी के तनवीर हसन को मात दी. 2019 में बीजेपी के गिरिराज सिंह ने सीपीआई के कन्हैया कुमार को बड़े अंतर से हराया।
10 उम्मीदवार मैदान मेंः बेगूसराय लोकसभा सीट पर कुल मिलाकर 10 उम्मीदवार भाग्य आजमा रहे थे. इस लिस्ट में गिरिराज सिंह, अवधेश कुमार राय, रजनीश कुमार मुखिया, मो० शहनवाज हुसैन, राम बदन राय, अरुण कुमार, इंद्रजीत राय, राम उदगार, चंदन कुमार दास और राज कुमार साह शामिल थे. कुल 14 अभ्यर्थियों ने 31 सेट नामांकन दाखिल किया था. जिसमें से 4 अभ्यर्थियों के 8 सेट नामांकन फॉर्म में गड़बड़ी पाए जाने पर रद्द किया गया. जिनके नामांकन पत्र रद्द किए गए उनमें वत्स पुरुषोत्तम, उमेश पटेल, रामवृक्ष कुमार और गुलाब चौधरी शामिल थे।