एक पूर्व माननीय का वनवास काल खत्म होते दिख रहा है. उच्च सदन के सदस्य रहे माननीय ने कई सालों तक वनवास काटा. आखिर नेताजी को इतना लंबा वनवास क्यों मिला ? इसके पीछे एक बड़ी वजह है. दरअसल, नेताजी ने एक ‘माननीया’ से ऐसी गंदी हरकत कर दी, जिससे पूरी पार्टी की फजीहत हुई थी. भारी बवेला मचा था. खबर जैसे ही महिला सदस्या के पति को लगी, इसके बाद तो ऐसी की तैसी हो गई, उच्च सदन के गलियारे में नेताजी की जमकर….। यह बात 2017 की है.
महिला सदस्य से बैड टच करने वाले नेताजी का वनवास खत्म होने वाला है…
सत्ताधारी जमात के बड़े दल में एक पूर्व माननीय की फिर से चर्चा शुरू हो गई है. चर्चा इस बात की है कि, नेताजी फिर से मुख्य धारा में आने वाले हैं. चर्चा को गति तब मिली जब उक्त पूर्व ‘माननीय’ पार्टी के प्रदेश कार्यालय में मंच पर बड़े नेताओं के साथ बैठे दिखे. दरअसल,वो बैठक पार्टी की आगामी कार्यक्रम की तैयारी को लेकर थी. मीटिंग में दल के नेतृत्वतकर्ता के साथ-साथ सरकार में शामिल बड़े चेहरे शामिल हुए थे. साथ ही वो पूर्व माननीय (नेताजी) भी मंच पर अगली कतार में बैठे थे. बताया जाता है कि पार्टी हफ्ते भर तक एक कार्यक्रम चलाने जा रही है, इसका प्रभारी उक्त नेता ( पूर्व माननीय) को ही बनाया गया है. स्वाभाविक है, नेतृत्व ने जब जिम्मा दिया है तो मंच पर अगली कतार में ही बैठेंगे.
महिला सदस्य से की थी छेड़खानी, तब पार्टी की भी पिटी थी भद्द !
अब उन बातों पर आइए, जिस पर उच्च सदन के ‘माननीय’ रहे नेताजी ने वनवास काटा, पार्टी से निलंबित हुए. वापस भी हुए तो अब तक बड़ी जिम्मेदारी नहीं मिली थी. नेतृत्व इनसे दूर ही रहता था. बात 2017 की है. दरअसल, नेताजी और इनकी पार्टी तब विपक्ष में बैठी थी. एक मुद्दे पर सदन के बाहर विपक्षी सदस्यों को प्रदर्शन करना था. विपक्षी खेमे में एक महिला सदस्य भी थीं. तब वो सदस्या सहयोगी दल की पार्षद थीं. बताया जाता है कि सदन से बाहर निकलने के दौरान नेताजी महिला सदस्य के साथ गलत हरकत कर बैठे. बस क्या था… महिला सदस्य ने निचले सदन के सदस्य (पति) को तुरंत इसकी सूचना दी. पति को जैसे ही सूचना मिली, चंद मिनटों में वे उच्च सदन के गलियारे में पहुंच गए. इसके बाद उक्त नेताजी को खींच कर किनारे ले गए और……।
यह खबर जंगल में आग की तरह फैल गई. मामला क्या था…वो सबके सामने आ गया.यह खबर मीडिया में छा गई.खबर सामने आने के बाद उनके साथ-साथ सबसे अलग बताने वाली पार्टी की भी भारी फजीहत हुई. पार्टी का चेहरा बचाने के लिए आरोपी माननीय को दल से निलंबित किया गया. महिला सदस्य भले ही सहयोगी दल की पार्षद थीं, पर पति उस दल के माननीय थे, आज भी हैं. अब तो सरकार में हैं. ‘वजीर’ की जिम्मेदारी संभाल रहे हैं. अब नेतृत्व ने निर्णय लिया है कि महिला सदस्य से छेड़खानी के आरोपी पूर्व माननीय को मेन स्ट्रीम में लाया जाय. हालांकि मुख्य धारा में लाने की खबर और तस्वीर सामने आने के बाद तरह-तरह की चर्चा शुरू हो गई है. पार्टी का एक गुट इससे खुश नहीं है. कहा जा रहा है कि पार्टी को अब ऐसे लोगों की ही जरूरत है.