केरल में राज्यपाल आरिफ मोहम्मद खान और मुख्यमंत्री पिनाराई विजयन की लड़ाई पुरानी है। दोनों एक-दूसरे पर कई बार सार्वजनिक रूप से हमलावर हो चुके हैं। एक-दूसरे पर जमकर जुबानी हमले बोलते रहते हैं। लेकिन सोमवार को यह जंग उस समय एक अलग ही मोड़ पर पहुंच गई जब राज्यपाल ने सीएम पर बड़ा आरोप लगाया। राज्यपाल ने सोमवार रात को आरोप लगाया कि मुख्यमंत्री पिनाराई विजयन की पार्टी के कार्यकर्ताओं ने उनकी गाड़ी पर हमला बोलाऔर उन्हें नुकसान पहुंचाने की कोशिश की।
‘सीएम मुझे शारीरिक नुकसान पहुंचाने की साजिश रच रहे’
सोमवार को राज्यपाल आरिफ मोहम्मद खान ने अपना आपा खोते हुए कहा, “मुख्यमंत्री मुझे शारीरिक रूप से नुकसान पहुंचाने के लिए यह साजिश रच रहे हैं, जैसा कि उन्होंने कन्नूर में किया था। एसएफआई कार्यकर्ता सीएम के निर्देश पर मुझे शारीरिक रूप से चोट पहुंचाने के लिए आए थे।” खान ने कहा, “जब मुख्यमंत्री इस साजिश का हिस्सा हैं, तो यह पुलिस क्या कर सकती है।” उन्होंने कहा कि वह अपराधियों को सड़क पर शासन करने की अनुमति नहीं देंगे।
‘क्या मुझे यही सुरक्षा कवर दिया गया है?’
इस दौरान राज्यपाल खान को अपना वाहन रोकते और प्रदर्शनकारियों को चुनौती देने के लिए कार से बाहर निकलते देख सुरक्षा अधिकारी हैरान रह गए। इसके बाद उन्होंने अपना आपा खोते हुए पुलिस अधिकारियों से पूछा, “क्या मुझे यही सुरक्षा कवर दिया गया है?” एक पुलिस अधिकारी को खान को शांत करने में कड़ी मेहनत करनी पड़ी, जबकि अन्य ने एसएफआई कार्यकर्ताओं का पीछा किया, जो राज्यपाल के काफिले के नजदीक आ चुके थे।
‘सीएम ने अपने कार्यकर्ताओं को खुली छूट दी हुई है’
इसके बाद खान ने एक बार फिर विजयन पर अपना गुस्सा जाहिर किया और यह कहते सुने गए कि ऐसा लगता है कि सीएम ने एसएफआई कार्यकर्ताओं को उनके साथ मारपीट करने की खुली छूट दे दी है। उन्होंने पूछा, “क्या किसी को भी सीएम के वाहन के पास पहुंचने की अनुमति दी जाएगी?”
कांग्रेस और बीजेपी ने भी सरकार पर बोला हमला
वहीं इस पूरे प्रकरण पर प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष के.सुधाकरन ने इसे राज्य के इतिहास का काला दिन बताया, जबकि उनके भाजपा समकक्ष के.सुरेंद्रन ने आरोप लगाया कि पुलिस अधिकारियों ने सुरक्षा वाहनों की गति कम कर दी, ताकि प्रदर्शनकारी आकर राज्यपाल के वाहन को टक्कर मार सकें। उन्होंने कहा, “राज्य में कानून-व्यवस्था की स्थिति पूरी तरह चरमरा गई है और हम ऐसी गुंडागर्दी पर मूकदर्शक नहीं बने रहेंगे।”