70वीं BPSC परीक्षा मामले पर पटना हाई कोर्ट में सुनवाई टली, जानिए.. अब किस दिन होगी हियरिंग

Patna high court pti jpg e1705421034254Patna high court pti jpg e1705421034254

पटना हाई कोर्ट में आज 70वीं बीपीएससी परीक्षा में कथित धांधली के मामले में होने वाली सुनवाई टल गई है। 70 वीं बीपीएससी सिविल प्रारंभिक परीक्षा पुनः कराने के मामले पर अब हाई कोर्ट कल सुनवाई करेगा। जस्टिस ए एस चंदेल की एकलपीठ पप्पू कुमार व अन्य द्वारा दायर याचिका पर गुरुवार को सुनवाई करेगी। इस याचिका में प्रारंभिक परीक्षा में हुई धांधलियों की जांच व दुबारा परीक्षा आयोजित कराने की मांग की गयी है।

दरअसल, बिहार में BPSC 70वीं पीटी परीक्षा को लेकर विवाद थमने का नाम नहीं ले रहा है। पटना हाईकोर्ट में परीक्षा में धांधली का आरोप लगाते हुए फिर से परीक्षा आयोजित करने को लेकर याचिका दाखिल की गई है। इस याचिका पर बुधवार को पटना हाईकोर्ट में सुनवाई होनी थी। यह याचिका वकील प्रणव कुमार ने आर्टिकल 226 के तहत दायर की है। याचिका में परीक्षा रद्द कर दोबारा परीक्षा कराने और रिजल्ट जारी करने पर रोक लगाने की मांग की गई है।

साथ ही याचिका में कोर्ट से अनुरोध किया है कि जब तक री-एग्जाम न हो जाए, तब तक रिजल्ट जारी नहीं किया जाए। हाई कोर्ट में सुनवाई के लिए आज की तारिख मुकर्रर थी लेकिन अपरिहार्य कारणों से बुधवार को याचिका पर सुनवाई नहीं हो सकी। अब इस मामले पर 16 जनवरी को सुनवाई होने की संभावना है।

बता दें कि बीते 7 जनवरी को 70वीं BPSC प्रारंभिक परीक्षा को रद्द करने की मांग को लेकर दायर याचिका पर सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई हुई थी। CJI संजीव खन्ना, जस्टिस संजय कुमार और जस्टिस केवी विश्वनाथन की बेंच ने इस मामले पर सुनवाई की थी। इस याचिका में प्रदर्शनकारी छात्रों पर किए गए लाठीचार्ज के लिए जिम्मेदार जिले के SP और DM के खिलाफ कार्रवाई की भी मांग की की गई थी। याचिका में व्यापक धांधली का भी आरोप लगाया गया था और इसकी जांच सुप्रीम के रिटायर जज की अध्यक्षता में सीबीआई से कराए जाने की मांग की गई थी। आनंद लीगल एड फोरम ट्रस्ट की ओर से यह याचिका दायर की गई थी।

BPSC प्रिलिम्स परीक्षा रद्द करने की मांग को लेकर दायर याचिका पर सुनवाई से सुप्रीम कोर्ट ने इनकार कर दिया था। सुप्रीम कोर्ट ने याचिकाकर्ता को पहले पटना हाईकोर्ट जाने की सलाह दी था। CJI संजीव खन्ना, जस्टिस संजय कुमार और जस्टिस केवी विश्वनाथन की बेंच ने सुनवाई से इनकार किया था। CJI ने याचिकाकर्ता के वकील से कहा था कि हम आपकी भावनाओं को समझते हैं। पहले आपको हाई कोर्ट जाना चाहिए था उसके बाद सुप्रीम कोर्ट का रुख करना चाहिए था। आप सीधे सुप्रीम कोर्ट नहीं आ सकते हैं।
whatsapp