राजधानी पटना के गांधी मैदान का विजयादशमी के दिन रावण दहन उत्सव काफी खास होता है। 69 वर्षों से यह परंपरा चली आ रही है। रावण दहन को देखने के लिये पटना ही नहीं बल्कि बिहार के अलग-अलग क्षेत्र से लोग गांधी मैदान में पहुंचते हैं। इस बार भी गांधी मैदान में रावण दहन को लेकर की खास तैयारी की जा रही है। पटना और गया के विभिन्न समुदाय से जुड़े हुए कारीगर रावण, कुंभकरण और मेघनाद के पुतले को अंजाम देने में जुटे हुए हैं।
दरअसल, दशहरा कमेटी के चेयरमैन कमल नोपानी ने बताया कि इस बार रावण दहन का गांधी मैदान में 69 वां वर्ष है। रावण, मेघनाथ और कुंभकरण के पुतला की ऊंचाई पिछले वर्ष के तुलना में 10 फीट बढ़ाई गई है। इस बार 80 फीट का रावण होगा, 75 फीट का कुंभकरण होगा और 70 फीट का मेघनाद होगा।
कमल नोपानी ने बताया कि इस बार जो सोने की लंका तैयार की जा रही है, वह दो मंजिला बनायी जा रही है। सोने की लंका में आग लगने से पहले हनुमान जी पटना के गांधी मैदान का तीन चक्कर लगाएंगे। हनुमान जी के साथ पूरी वानर सेना रहेगी। शाम 6:30 तक रावण दहन का कार्यक्रम चलेगा। गांधी मैदान में ही अशोक वाटिका और सोने की लंका का डेमोंसट्रेशन तैयार हो रहा है। 11 अक्टूबर तक रावण समेत तीनों पुतले अपने जगह पर खड़े हो जाएंगे।
वहीं,इस बार इको फ्रेंडली पटाखे फोड़ जाएंगे और रंग बिरंगी आतिशबाजी से आसमान रोशन होगा। सुरक्षा के भी करे प्रबंध किए गए हैं। सुरक्षा को लेकर जिला प्रशासन से लगातार बातचीत भी चल रही है। सुरक्षा घेरा भी बैरिकेडिंग करके बना दिया गया है, जिसके भीतर लोग नहीं जाएंगे। डी एरिया के बाहर ही लोग रहेंगे। इस कार्यक्रम के लिए मुख्यमंत्री नीतीश कुमार और राज्यपाल राजेन्द्र विश्वनाथ आर्लेकर को भी निमंत्रित किया गया है।