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‘फसल नहीं हुआ तो कैसे होगी बेटी की शादी’, बारिश ने दिया धोखा, सूखा खेत देख किसानों का फट रहा कलेजा

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बिहार में बारिश नहीं होने के कारण किसानों की समस्या लगातार बढ़ती जा रही है. खेतों में पड़ी दरार और सुख रहे धान की फसल को देखकर किसान का कलेजा फट रहा है. किसानों ने किसी तरह धान की रोपाई तो कर ली लेकिन पानी के आभाव के कारण पौधे बर्बाद हो गए. कृषि विभाग किसानों को डीजल अनुदान देने के लिए आवेदन करने की बात कह रही है।

फसल सूखने से किसान चिंतितः सावन के महीने में वैशाख जैसी तपिश से सुखाड़ का साया मंडरा रहा है. विगत 18 दिनों से जिले में बारिश नहीं हो रही है. आसमान में काले-उजले बादल मंडरा रहे हैं लेकिन बारिश होने का नाम नहीं ले रही है. सूर्योदय से लेकर सूर्यास्त तक तेज धूप से जनजीवन बेहाल रहा. सबसे ज्यादा परेशानी किसानों की है।

78 हजार हेक्टेयर में धान की रोपाईः कृषि विभाग के आंकड़ों में जिले में अब तक 78 हजार हेक्टेयर में धान की रोपाई हुई है. कृषि विभाग द्वारा जारी आंकड़ों के अनुसार धान की रोपनी करने का लक्ष्य 902455.8 हजार हेक्टेयर में रखा गया था. इसमें कुल आच्छादन 78000 हेक्टेयर में धान की रोपनी हुई है. हालांकि किसानों का मानना है कि अब भी 75 प्रतिशत किसान धान की रोपनी बारिश के अभाव में नहीं कर सके हैं।

खेतो से नमी गायब होने से सूख रहे बिचड़ेः पिछले पंद्रह दिनों में दो पटवन करने के बाद भी खेतों में नमी नहीं है. ऊपरी भूमि में नमी पूरी तरह से खत्म हो चुकी है. रोपे गए धान के पौधे झुलस व सूख चुके हैं. पौधशाला में धान के बिचड़े खराब हो रहे हैं. कुछ किसान निजी पम्पी सेट से धान का पटवन कर धान के पौधे बचाने की कोशिश में लगे हैं. कुछ किसान के खेतो मे दरारें पड़ गए हैं।

“कर्ज लेकर दो एकड़ खेत बटईया पर लेकर धान की रोपाई की थी. बारिश नहीं हो रही है. इसलिए परेशान हैं कि अब कर्ज सधाएंगे या बेटी की शादी करेंगे. सूखा खेत को देखकर कलेजा फटा जा रहा है. क्या करूं कुछ समझ में नहीं आ रहा है.” -रेयाजुद्दीन अहमद, किसान

75 रुपये प्रति लीटर मिलेगा डीजलः सरकार द्वारा डीजल अनुदान देने की भी घोषणा की गई है. डीजल अनुदान के लिए आवेदन करने के लिए पोर्टल खुल गया. विभाग के अनुसार डीजल अनुदान की राशि किसानों के खाते में जाएगी. डीजल अनुदान का लाभ लेने के लिए किसानों को ऑनलाइन आवेदन करना है. इसके लिए किसान किसी भी वसुधा केंद्र, वैसे साइबर कैफे जहां थंब इंप्रेशन की सुविधा, हो या सीएसपी पर जाकर आवेदन कर सकते हैं। कृषि विभाग के अनुसार किसानों को प्रति लीटर 75 रुपये और अधिकतम एक पटवन के लिए 750 रुपये अनुदान की राशि मिलेगी।

“इस बार अपेक्षा से कम बारिश हुई है. जुलाई माह में 314.10 एमएम बारिश होनी थी लेकिन 259.74 एमएम ही बारिश हुई है. 10 अगस्त तक धान रोपाई का समय है. अभी तक कुल 86.44 प्रतिशत आच्छादन हुआ है. वैसे किसान जो निजी पम्प सेट से खेतो की रोपनी किए हैं वे डीजल अनुदान के लिए आवेदन कर सकते हैं.” -भूपेंद्र मणि त्रिपाठी, कृषि पदाधिकारी, गोपालगंज

गोपालगंज में तापमान में बढ़ोतरीः बता दें कि बारिश नहीं होने के कारण गोपालगंज में गर्मी चरम पर है. सोमवार को मौसम विभाग की रिपोर्ट के अनुसार गोपालगंज सबसे गर्म जिला रहा. यहां का अधिकतम तापमान 40 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया है. हालांकि मौसम विभाग ने अगले 5 दिनों तक मौसम में बदलाव को लेकर संभावना जतायी है. किसान बारिश का इंतजार कर रहे हैं।


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