भारत और ऑस्ट्रेलिया के बीच 20 साल के बाद वनडे विश्व कप के फाइनल में भिड़ंत होने वाली है। दोनों टीमें आखिरी बार 2023 में आमने-सामने हुई थी, जिसमें ऑस्ट्रेलिया को जीत मिली थी। अब भारतीय टीम के लिए समय आ गया है कि ऑस्ट्रेलिया से अपना बदला पूरा करे। भारत के पास 20 साल बाद ऑस्ट्रेलिया को हराकर बदला पूरा करने का मौका है। अगर भारत फाइनल में ऑस्ट्रेलिया को हरा देता है, तो न सिर्फ 20 साल का बदला पूरा करेगा, बल्कि सबसे अधिक वनडे विश्व कप जीतने वाली दूसरी टीम भी बन जाएगी। लेकिन भारत की जीत के रास्ते में 2 कठिन सवाल सामने आ रहे हैं। अगर भारतीय टीम ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ फाइनल से पहले ये दो सुधार नहीं करती है, तो फाइनल जीत पाना मुश्किल होगा।
फिनिशर का नहीं चलना बड़ी समस्या
ऑलराउंडर खिलाड़ी हार्दिक पांड्या के चोटिल होने के बाद फिनिशर की भूमिका बल्लेबाज सूर्यकुमार यादव को सौंपी गई है। लेकिन सूर्या का बल्ला विश्व कप में खामोश है। द 360 डिग्री के नाम से मशहूर खिलाड़ी सूर्यकुमार यादव के बल्ले से इस विश्व कप में एक भी अर्धशतकीय पारी देखने को नहीं मिली है, ऐसे में बड़ा सवाल है कि अगर फाइनल में भी सूर्या का बल्ला खामोश रहता है, तो भारत को जीत कैसे मिलेगी। ऐसे में अगर भारत को तीसरी बार फाइनल जीतने का सपना सच करना है, तो इसके लिए सू्र्या का बल्ला चलना काफी जरूरी है।
गेंदबाजी बनी समस्या
भारतीय टीम हार्दिक पांड्या के बाहर होने के बाद सिर्फ 5 गेंदबाजों के साथ मैदान पर उतर रही है। सेमीफाइनल मुकाबले में भी जब भारतीय गेंदबाजों की पिटाई होने लगी थी, इस दौरान भारत को छठे गेंदबाज की जरूरत महसूस होने लगी थी। अगर फाइनल मुकाबले में कोई गेंदबाज चोटिल हो जाता है, या फिर किसी की खूब पिटाई होती है, तो रोहित शर्मा किससे गेंदबाजी करवाएंगे। हालांकि भारत के 4 बल्लेबाजों ने नीदरलैंड के खिलाफ गेंदबाजी की थी, ताकि मुसीबत के समय वह गेंद करा सके, लेकिन ये तो बस खानापूर्ति होगी। भारत के पास छठा गेंदबाज नहीं होना मुश्किल खड़ी कर सकती है।