पाकिस्तान में जयशंकर का बेसब्री से हो रहा इंतजार, सत्ता पक्ष और विपक्ष में ठनी
इस्लामाबाद। पाकिस्तान मंगलवार से शुरू होने वाली दो दिवसीय एससीओ काउंसिल ऑफ हेड्स ऑफ गवर्नमेंट (सीएचजी) की बैठक की मेजबानी कर रहा है। हालांकि सभी की निगाहें भारत के विदेश मंत्री एस. जयशंकर पर है जो इस बैठक में भाग लेने के लिए इस्लामाबाद आ रहे हैं। यहां तक की उनके दौरे को लेकर सत्ता पक्ष और विपक्ष में ठन गई है।
पाकिस्तान में जयशंकर का दौरा चर्चा का विषय बना हुआ है। सत्तारूढ़ सरकार के कई मंत्रियों और विपक्षी नेताओं ने घरेलू राजनीतिक फायदे के लिए उनकी यात्रा को सुर्खियों में ला दिया है।
पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ (पीटीआई) के सांसद और खैबर-पख्तूनख्वा (केपी) के सूचना सलाहकार बैरिस्टर मुहम्मद अली सैफ ने जयशंकर को पीटीआई कार्यकर्ताओं से मिलने के लिए आमंत्रित किया, जो देश की राजधानी में विरोध रैली कर रहे हैं।
सैफ ने कहा, “एससीओ शिखर सम्मेलन के लिए इस्लामाबाद आने वाले सभी विदेशी प्रतिनिधिमंडल हमारे विरोध को देखकर खुश होंगे और हमारे देश की लोकतांत्रिक प्रथाओं और ताकत की सराहना करेंगे… हम जयशंकर को हमारे सरकार विरोधी प्रदर्शन को संबोधित करने के लिए भी आमंत्रित करेंगे और वह खुद देखेंगे कि पाकिस्तान का लोकतंत्र कितना मजबूत है।”
इस पर तुरंत प्रतिक्रिया देते हुए, शहबाज शरीफ के नेतृत्व वाली पाकिस्तानी सरकार ने पीटीआई के इस कदम की कड़ी निंदा की। रक्षा मंत्री ख्वाजा आसिफ ने कहा, “भारतीय विदेश मंत्री को अपने कार्यकर्ताओं को संबोधित करने के लिए आमंत्रित करना पीटीआई की विश्वसनीयता पर सवाल उठाता है।”
आसिफ 9 मई 2023 को देश में होने वाले बड़े पैमाने पर हुई हिंसा का जिक्र करते हुए कहा, “सभी नेताओं में से पीटीआई ने केवल भारतीय विदेश मंत्री को आमंत्रित किया। बेहतर होगा कि पीटीआई जयशंकर को 200 से अधिक रक्षा प्रतिष्ठानों और शहीदों के नष्ट किए गए स्मारकों पर ले जाए।”
इस बीच, पाकिस्तान में सभी सुरक्षा एजेंसियां अलर्ट हैं, क्योंकि पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ ने एससीओ परिषद के शासनाध्यक्षों की बैठक के पहले ही दिन मंगलवार को इस्लामाबाद में एक बड़ा विरोध प्रदर्शन करने की योजना की घोषणा की है।
Discover more from Voice Of Bihar
Subscribe to get the latest posts sent to your email.