कथावाचक और भजन गायिका जया किशोरी को आज भला कौन नहीं जानता. जया किशोरी ऐसी कथावाचक हैं, जिन्हें हर उम्र के लोग पसंद करते हैं. जया किशोरी ने खास अंदाज में भजन गाने और कथा सुनाने से लोगों के बीच खास पहचान बनाई.
जया किशोरी की प्रसिद्धि देश-विदेश तक फैली है. आपने भी मोटिवेशनल स्पीकर जया किशोरी का नाम जरूर सुना होगा या उनके वीडियो सोशल मीडिया पर जरूर देखे होंगे. जानते हैं जया किशोरी के जीवन से जुड़े रहस्य और उनकी जीवनी के बारे में.
जया किशोरी का जन्म 13 जुलाई 1995 में राजस्थान के एक छोटे से गांव सुजानगढ़ में हुआ वह गौड़ ब्राह्मण परिवार से ताल्लुक रखती हैं. जया किशोरी के पिता का नाम राधे श्याम हरितपाल और माता का नाम गीता देवी हरितपाल है. जया किशोरी की एक बहन है जिसका नाम चेतना शर्मा है. जया किशोरी का अभी विवाह नहीं हुआ है. बात करें जया किशोरी की शिक्षा की तो उन्होंने बीकॉम की पढ़ाई की है. इसके साथ ही उन्होंने आध्यात्म का ज्ञान भी प्राप्त किया है.
जया किशोरी को आध्यात्मिक माहौल परिवार से ही मिलना शुरू हो गया. जया किशोरी जब 6-7 साल की थीं, तभी आध्यात्मिक सफर की शुरुआत कर दी. वह बचपन में अपने दादाजी से भगवान कृष्ण की कथा-कहानियां सुना करती थीं. मात्र 9 साल की उम्र में जया किशोरी ने लिंगाष्टकम, शिव तांडव स्त्रोत, मधुराष्टकम्रा, शिवपंचाक्षर स्तोत्रम्, दारिद्रय दहन शिव स्तोत्रम् जैसे कई स्त्रोत कंठस्थ याद कर लिए और भजन-गीत गाना शुरू कर दिया.
जया किशोरी का वास्तिवक नाम जया शर्मा है. जया किशोरी के गुरु का नाम गोविंद राम मिश्रा है. गुरुजी से ही जया शर्मा को ‘किशोरी’ की उपाधि मिली. श्रीकृष्ण के प्रति गहरी आस्था और प्रेम होने के कारण इन्हें किशोरी की उपाधि दी गई और इसके बाद इन्हें जया किशोरी जी के नाम से जाना जाने लगा. हालांकि जया किशोरी खुद को साधारण लड़की मानती है और साध्वी संत कहलाना इन्हें पसंद नहीं.
जया किशोरी जी के पुरस्कार (Jaya Kishori Award)
2016 में जया किशोरी को ‘आदर्श युवा आध्यात्मिक गुरु पुरस्कार’ से सम्मानित किया गया.
जया किशोरी को फेम इंडिया एशिया पोस्ट सर्वे 2019 यूथ आइकॉन से नवाजा गया.
2021 में जया किशोरी को ‘मोटिवेशनल स्पीकर ऑफ द ईयर’ के सम्मान से सम्मानित किया गया.