केवीआईसी ने मुख्यालय मुंबई में आयोजित किया ‘मेगा वितरण’ कार्यक्रम, वर्चुअल माध्यम से देशभर में 16377 उपकरण, मशीन व टूलकिट का वितरण

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खादी और ग्रामोद्योग आयोग (केवीआईसी), सूक्ष्म, लघु व मध्यम उद्यम मंत्रालय (एमएसएमई), भारत सरकार द्वारा अपने केंद्रीय कार्यालय, मुंबई में वर्चुअल माध्यम से अबतक का सबसे बड़ा और व्यापक ‘मेगा वितरण’ कार्यक्रम आयोजित किया गया। ग्रामोद्योग विकास योजना, खादी विकास योजना और प्रधानमंत्री रोजगार सृजन कार्यक्रम (पीएमईजीपी) के अंतर्गत 5 लाख से अधिक खादी कारीगर, उद्यमी और लाभार्थी लाभान्वित हुए। इस अवसर पर मुख्य अतिथि केवीआईसी अध्यक्ष मनोज कुमार ने वर्चुअल माध्यम से देशभर के लाखों कारीगरों को संबोधित किया और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के ‘विकसित भारत’ और ‘आत्मनिर्भर भारत’ अभियान से जुड़ने की अपील की। कार्यक्रम में ऑनलाइन माध्यम से खादी और ग्रामोद्योग आयोग के उत्तर जोन के सदस्य नागेंद्र रघुवंशी, पूर्वी जोन के सदस्य मनोज कुमार सिंह, एमएसएमई मंत्रालय से संयुक्त सचिव (एआरआई ) विपुल गोयल, आर्थिक सलहकार ( एमएसएमई) सिमी चौधरी और केंद्रीय कार्यालय, केवीआईसी के वरिष्ठ अधिकारियों के साथ साथ आयोग के देश भर के क्षेत्रीय कार्यालय से अधिकारी व कर्मचारी गण उपस्थित रहे।

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प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के दृष्टिकोण के अनुरूप खादी और ग्रामोद्योग क्षेत्र में आत्मनिर्भरता और उद्यमिता को प्रोत्साहन देने की दिशा में ऐतिहासिक पहल करते हुए विले पार्ले स्थिति मुख्यालय में ‘मेगा वितरण’ कार्यक्रम का आयोजन किया गया। कार्यक्रम में ग्रामोद्योग विकास योजना के अंतर्गत देशभर के सभी 6 जोन (पूर्वी जोन, पश्चिमी जोन, उत्तर जोन, दक्षिण जोन, मध्य जोन और पूर्वोत्तर जोन) के राज्य और मंडलीय कार्यालयों से संबद्ध लाभार्थियों को 16377 उपकरण, मशीन व टूलकिट का वितरण किया गया। साथ ही, खादी विकास योजना के अंतर्गत 44 नवीनीकृत खादी भवनों और 750 खादी वर्कशेड का उद्घाटन भी किया गया। इस अवसर पर प्रधानमंत्री रोजगार सृजन कार्यक्रम के तहत वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से देश भर में 14456 पीएमईजीपी इकाइयों को 1399.13 करोड़ रुपये के स्वीकृत ऋण पर 469 करोड़ रुपये मार्जिन मनी सब्सिडी का संवितरण किया गया, जिससे 159016 रोजगार के अवसर सृजित होंगे। इसके साथ ही अध्यक्ष केवीआईसी ने 5000 नई पीएमईजीपी इकाइयों का भी ऑनलाइन उद्घाटन किया। वित्तीय वर्ष 2024-25 में कुल 58850 लाभार्थियों को 2175 करोड़ रुपये की मार्जिन का संवितरण किया गया जिससे 64,73,50 रोजगार सृजित हुए।

अध्यक्ष, केवीआईसी मनोज कुमार ने बताया कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के ‘आत्मनिर्भर भारत’ विजन को साकार करने और युवाओं को रोजगार प्रदान करने की दिशा में खादी और ग्रामोद्योग आयोग ने ग्रामोद्योग विकास योजना के तहत अपने इतिहास के अब तक के सबसे व्यापक और वृहद टूलकिट वितरण कार्यक्रम का आयोजन किया है। इसके तहत वर्चुअल माध्यम से कुल 16,377 टूलकिट और उपकरणों का वितरण किया गया, जिसमें 3,950 बी-बॉक्स, 7,067 विद्युत चालित चाक, 1,350 चर्म उत्पाद मरम्मत टूलकिट, 390 जूता निर्माण उपकरण, 420 इलेक्ट्रिशियन टूलकिट, 80 एसी मरम्मत टूलकिट, 300 प्लंबर टूलकिट, 60 मोबाइल रिपेयरिंग टूलकिट, 971 सिलाई मशीनें, 278 हैंडमेड पेपर मेकिंग मशीनें, 349 स्वचालित अगरबत्ती मेकिंग मशीनें, 60 पैडल चालित अगरबत्ती मेकिंग मशीनें, 320 टर्नवुड मशीनें, 180 वुडन टॉय मेकिंग मशीनें, 460 वेस्टवुड क्राफ्ट मशीनें और 292 कृषि आधारित खाद्य प्रसंस्करण मशीनें शामिल हैं।

कार्यक्रम के दौरान मनोज कुमार ने बताया कि केवीआईसी ने वित्तीय वर्ष 2024-2025 में अब तक 1,110 खादी संस्थाओं को संशोधित विपणन विकास सहायता (एमएमडीए) के अंतर्गत 215 करोड़ रुपये की अनुदान राशि जारी की है, जिससे लगभग 1,46,246 कारीगर लाभान्वित हुए हैं। इसके अलावा, आईएसईसी (ISEC) कार्यक्रम के माध्यम से 1153 खादी संस्थाओं को 40 करोड़ रुपये की अनुदान राशि का भी संवितरण किया जा चुका है। इसी क्रम में, आज अतिरिक्त खादी संस्थाओं को 32.73 करोड़ रुपये की एमएमडीए अनुदान राशि खादी संस्थाओं को जारी की गई जिससे 3817 कारीगर लाभान्वित हुए।

केवीआईसी अध्यक्ष ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व की सराहना करते हुए कहा, “हम सभी को ‘वोकल फॉर लोकल’ के साथ-साथ ‘मेक फॉर वर्ल्ड’ के मंत्र को अपनाना होगा, तभी प्रधानमंत्री मोदी का ‘लोकल से ग्लोबल’ का विजन साकार होगा।” उन्होंने खादी कारीगरों के लिए एक महत्वपूर्ण घोषणा करते हुए बताया कि 1 अप्रैल 2025 से खादी कारीगरों के पारिश्रमिक में 20 प्रतिशत की वृद्धि की जाएगी। पिछले 11 वर्षों में मोदी सरकार ने खादी कारीगरों के पारिश्रमिक में 275 प्रतिशत की ऐतिहासिक वृद्धि की है। अब चरखे पर प्रति लच्छा कताई करने पर कत्तिनों को 15 रुपये मिलेंगे।

मनोज कुमार ने पत्रकारों से वार्ता के दौरान कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भारत टेक्स-2025 में ‘खादी पुनर्जागरण’ के लिए ‘खादी फॉर फैशन’ का मंत्र दिया, जिसे जन-जन तक पहुंचाने और खादी को आधुनिक परिधान के रूप में लोकप्रिय बनाने के लिए केवीआईसी ने नागपुर, पुणे, वडोदरा, सूरत, चेन्नई, जयपुर, प्रयागराज सहित कई शहरों में भव्य खादी फैशन शो आयोजित किए। प्रधानमंत्री की प्रेरणा से ‘नए भारत की नई खादी’ विशेष रूप से युवा पीढ़ी तक पहुंची और आधुनिक परिधानों के रूप में अपनी पहचान स्थापित कर रही है। अध्यक्ष, केवीआईसी ने बताया कि प्रयागराज महाकुंभ में खादी की बिक्री 12.02 करोड़ रुपये रही, जबकि पिछले वित्तवर्ष में खादी और ग्रामोद्योग का कुल उत्पादन 1.08 लाख करोड़ और बिक्री 1.55 लाख करोड़ रुपये तक पहुंची। पिछले 10 वर्षों में 1.87 करोड़ रोजगार सृजित हुए, जिनमें 10.17 लाख नए रोजगार शामिल हैं। पीएमईजीपी के तहत 10 लाख से अधिक परियोजनाएं स्थापित हुईं, जिससे 88 लाख से अधिक लोगों को रोजगार मिला। कार्यक्रम में खादी और ग्रामोद्योग आयोग के देशभर के कार्यालयों से संबद्ध लाखों खादी कारीगर, खादी संस्थाओं के प्रतिनिधि, ग्रामोद्योग विकास योजना और पीएमईजीपी योजना के लाभार्थी ऑनलाइन माध्यम से जुड़े रहे। साथ ही, केंद्रीय कार्यालय मुंबई में खादी कार्यकर्ताओं सहित केवीआईसी के अधिकारी और कर्मचारीगण भी उपस्थित रहे।

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