महाराष्ट्र में रविवार को बड़ा पॉलिटिकल डेवलपमेंट हुआ। NCP के अजित पवार ने दोपहर ढाई बजे शिवसेना के एकनाथ शिंदे की सरकार में डिप्टी CM पद की शपथ ली। शपथ के तुरंत बाद ट्विटर प्रोफाइल बदला और लिखा- डिप्टी सीएम ऑफ महाराष्ट्र।
अजित पवार 8 विधायकों छगन भुजबल, धनंजय मुंडे, अनिल पाटिल, दिलीप वलसे पाटिल, धर्मराव अत्राम, सुनील वलसाड, अदिति तटकरे और हसन मुश्रीफ के साथ दोपहर करीब 2 बजे राजभवन पहुंचे थे। 3 बजते-बजते CM शिंदे और डिप्टी CM देवेंद्र फडवणीस की मौजूदगी में सभी को मंत्री पद की शपथ दिलाई गई।
अजित पवार पांचवीं बार महाराष्ट्र के उप मुख्यमंत्री की शपथ ली। 1999-2014 के दौरान महाराष्ट्र में कांग्रेस-NCP गठबंधन की सरकार में वह दो बार उप मुख्यमंत्री रहे। नवंबर 2019 में अजित पवार बगावत करके देवेंद्र फडणवीस के साथ सरकार बनाई और उप मुख्यमंत्री बने।
दो दिन बाद सरकार गिर गई। इसके 2 दिन बाद उद्धव ठाकरे की सरकार बनी जिसमें वह डिप्टी CM बनाई गई। अब पांचवीं बार शिंदे की सरकार में डिप्टी CM बने हैं।
शरद पवार का राहुल को समर्थन देना नाराजगी का कारण
न्यूज एजेंसी ANI के मुताबिक, अजित समेत बाकी विधायक शरद पवार के पटना में विपक्षी एकता बैठक में मंच साझा करने और राहुल गांधी के साथ सहयोग करने के एकतरफा फैसले से नाराज थे।
महाराष्ट्र में अगले साल अक्टूबर में विधानसभा चुनाव होने हैं। इसके छह महीने पहले आम चुनाव होंगे। अजित के शामिल होने के बाद एकनाथ शिंदे ने कहा कि हम विधानसभा और लोकसभा में पहले से ज्यादा सीटें जीतेंगे। महाराष्ट्र भाजपा अध्यक्ष चंद्रशेखर बावनकुले ने कहा कि हमारी सरकार को 40 NCP विधायकों का समर्थन है।
ऐसे में अब महाराष्ट्र में नेता विपक्ष का पद कांग्रेस को मिल सकता है। विपक्ष में सबसे ज्यादा 44 सीटें कांग्रेस के पास हैं।