महागठबंधन में सीट बंटवारे पर कई सवाल , क्या राजद ने congress को निपटा दिया?
लोक सभा चुनाव 2024 (Lok Sabha Election 2024) को लेकर बिहार में महागठबंधन के बीच सीटों का ऑफिशियल बंटवारा हो गया है. राजद के खाते में 26, कांग्रेस के खाते में 9 और वाम दलों को 5 सीटें दी गई है. सीट बंटवारे में कई सीटें ऐसी हैं जो पहले कांग्रेस की खाते में थी लेकिन अब वहां राजद अपनी प्रत्याशी उतार रही है. चलिए जान लेते हैं कि कौन सी वो सीट है जो अब राजद के खाते में गई है… और क्यों सवाल खड़े हो रहें है?
सबसे पहले जान लेते हैं कि कौन सी सीट है जहां कांग्रेस ने 2019 में चुनाव लड़ा था. जो इस बार राजद के खाते में गई है…
सुपौल
वाल्मीकिनगर
पुर्णिया
मुंगेर
पहले कांग्रेस इन 4 सीटों पर चुनाव लड़ी थी अब लिस्ट आने के बाद सवाल खड़ा हो रहा है कि क्या राजद ने कांग्रेस की सीटों को जानबूझ कर छीन लिया है… क्या 2 मिनट की प्रेस कांफ्रेंस में ही कांग्रेस को निपटा दिया है?चलिए जान लेते हैं कि क्यों सवाल खड़ा हो रहा है?
वाल्मीकिनगर
सबसे पहले बात वाल्मीकिनगर लोकसभा की करेंगे..2020 में हुए उप चुनाव में कांग्रेस को मात्र 20 हजार की मतों के अंतर से हार का सामना करना पड़ा था.वह कांग्रेस की परंपरागत सीट रही है. दिग्गज कांग्रेसी नेता पुर्णमासी राम वहां से सांसद भी रह चुके हैं. अब यह सीट राजद की खाते में चली गई है.
सुपौल
लोक सभा सीट सुपौल भी कांग्रेस की सीट रही है यहां से कांग्रेस की रंजीत रंजन चुनाव लड़ती हैं 2014 में मोदी लहर के बाद भी वो चुनाव जीतने में कासयाब रही थी.2019 में वो दूसरे नंबर पर थी. यह सीट भी कांग्रेस की हाथ से निकल गई है.
पुर्णिया
जब से पप्पू यादव ने अपनी पार्टी की विलय कांग्रेस में किया है तब से यह सबसे हॉट सीट बना हुआ है.पप्पू यादव यहां से सांसद भी रह चुके हैं. यह सीट भी कांग्रेस की परंपरागत सीट थी लेकिन अब राजद ने अपने कोटे में रख लिया है. यहां से जेडीयू छोड़ राजद में आने वाली बीमा भारती को टिकट देने की बात हो रही है.
मुंगेर
इस लिस्ट में अगला नंबर है मुंगेर का, मुंगेर जो 2019 की चुनाव में सबसे हॉट सीट बनी हुई थी. यहां से बाहूबली अनंत सिंह की पत्नी नीलम देवी ने कांग्रेस की टिकट पर चुनाव लड़ी थी. अब यह सीट भी कांग्रेस की हाथ से निकल गई है..इस खबर पर हमने बिहार के वरिष्ठ पत्रकार रवि उपाध्याय से बात की तो उनका कहना था कि इससे कांग्रेस की जनाधर पर असर पडेगा. कार्यकर्ताओं का मोरल डाउन होगा. कांग्रेस को यह सीट नहीं छोड़नी चाहिए थी.
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