पटना: देश भर में भाजपा के खिलाफ विपक्षी एकता के लिए विपक्षी दलों की बैठक की नई तारीख का ऐलान हो गया है. अब 23 तारीख को पटना में विपक्षी दलों की बैठक होगी. इसके पहले 12 जून को बैठक होनी थी. लेकिन कांग्रेस व अन्य दलों ने तारीख पर असहमति जताई थी. इसके बाद 12 तारीख वाली बैठक को स्थगित कर दिया गया था. अब राजद-जेडीयू ने ऐलान किया है कि 23 जून को पटना में बैठक होगी, जिसमें कांग्रेस समेत देश भर के विपक्षी पार्टियों के नेता शामिल होंगे. आज तेजस्वी यादव और ललन सिंह ने साझा प्रेस कांफ्रेंस कर इसकी घोषणा की।
तेजस्वी यादव और ललन सिंह ने साझा प्रेस कांफ्रेंस करते हुए कहा कि 23 जून को बैठक पर सभी पार्टियों की सहमति मिल गयी है. अब इस बैठक में कांग्रेस के राहुल गांधी औऱ मल्लिकार्जुन खरगे के साथ-साथ ममता बनर्जी, शरद पवार, अऱविंद केजरीवाल, हेमंत सोरेन, उद्धव ठाकरे, अखिलेश यादव, तमिलनाडु से एमके स्टालिन, सीपीआई के सचिव डी. राजा, सीपीएम के सचिव सीताराम येचुरी, भाकपा माले के दीपंकर भट्टाचार्य जैसे नेताओं की सहमति मिल गयी है. ये तमाम नेता बैठक में शामिल होंगे।
तेजस्वी यादव ने कहा कि सबलोग एक प्लेटफार्म पर आ रहे हैं. देश में लोकतंत्र को कुचला जा रहा है. मुद्दे की बात नहीं हो रही. तानाशाही रवैया अपनाया जा रहा है. इसके खिलाफ पटना में बड़ी बैठक होने जा रही है. बैठक के बाद एक ठोस रिजल्ट सामने आयेगा. वहीं ललन सिंह ने कहा कि आज देश के हालात इमरजेंसी से भी अधिक खतरनाक हो गए हैं. कोई कुछ बोलता है तो तोतों की कार्रवाई शुरू हो जाती है. इसलिए आज की आवश्यकता है कि भाजपा मुक्त देश बने. देश में फिर से लोकतंत्र स्थापित हो. 23 तारीख की विपक्षी दलों की बैठक इस काम में अहम भूमिका निभायेगा. उन्होंने कहा कि विपक्षी पार्टियां एक होकर 2024 का चुनाव लड़ेंगी।
ललन सिंह औऱ तेजस्वी यादव ने बार बार जोर देकर दावा किया कि राहुल गांधी और मल्लिकार्जु खरगे दोनों विपक्षी पार्टियों की बैठक में शामिल होंगे. पटना में विपक्षी पार्टियों की बैठक होगी और यहीं से देश से भाजपा को उखाड़ फेंकने की रणनीति बनेगी. तेजस्वी यादव ने कहा कि 12 मई को कुछ नेताओं को असुविधा थी, इसलिए बैठक को टालनी पड़ी. पटना में ही 23 जून को बैठक होगी. देश के कई नेताओं से हमारी मुलाकात हुई है. देश के जो हालात हैं, यह हर कोई जानता है. पर मुद्दे की बात नहीं हो रही, तानाशाही हो रही है।