निलंबित सांसदों के लिए नया फरमान, संसद कक्ष-लॉबी-गैलरी में नहीं कर सकते एंट्री; विपक्ष की संख्या एक-तिहाई हुई
संसद के शीतकालीन सत्र का आज बुधवार 13वां दिन है। संसद सुरक्षा चूक मामले और सांसदों के निलंबन पर विपक्ष का हंगामा आज भी जारी रह सकता है। मौजूदा सत्र में अब तक 141 सांसदों को निलंबित किया जा चुका है। इनमें लोकसभा के 95 और राज्यसभा के 46 सांसद शामिल हैं। निलंबित सांसदों के लिए लोकसभा सचिवालय ने एक सर्कुलर जारी कर उन्हें संसद कक्ष, लॉबी और गैलरी में प्रवेश करने पर रोक लगा दी है।
सर्कुलर में क्या कहा गया है?
सर्कुलर में कहा गया है, “उनके निलंबन से निम्नलिखित परिणाम उत्पन्न होते हैं और निलंबन की अवधि के दौरान लागू रहते हैं: वे कक्षों, लॉबी और दीर्घाओं में प्रवेश नहीं कर सकते। उन्हें संसदीय समितियों की बैठकों से निलंबित कर दिया गया है, जिसके वे सदस्य हो सकते हैं। उनके नाम पर कार्य सूची में कोई आइटम नहीं डाला गया है।” सर्कुलर में आगे कहा गया है, “उनके निलंबन की अवधि के दौरान उनकी ओर से दिया गया कोई भी नोटिस मंजूर नहीं है। वे अपने निलंबन की अवधि के दौरान होने वाले समितियों के चुनाव में मतदान नहीं कर सकते। यदि उन्हें शेष सत्र के लिए सदन की सेवा से निलंबित कर दिया जाता है, तो वे निलंबन की अवधि के लिए दैनिक भत्ते के हकदार नहीं हैं, क्योंकि वेतन की धारा 2(डी) के तहत ड्यूटी के स्थान पर उनके रहने को ड्यूटी पर निवास के रूप में नहीं माना जा सकता है। संसद सदस्यों के भत्ते और पेंशन अधिनियम, 1954 समय-समय पर संशोधित होते हैं।”
सदन में विपक्ष की संख्या एक-तिहाई हुई
बता दें कि विपक्ष 13 दिसंबर को संसद में घुसपैठ पर केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाहृ के बयान की मांग कर रहा है। हंगामे की वजह से 19 दिसंबर तक विपक्ष के 141 सांसद सस्पेंड हो चुके हैं। संसद से सस्पेंड हुए सांसदों में सबसे ज्यादा 57 कांग्रेस के हैं। इसी मुद्दे पर चर्चा के लिए कांग्रेस संसदीय दल की नेता सोनिया गांधी ने आज मीटिंग बुलाई है। निलंबन के बाद सदन में विपक्ष की संख्या एक-तिहाई रह गई है। आज की कार्यवाही में लोकसभा में 102 और राज्यसभा में 94 सांसद हिस्सा लेंगे।
विपक्षी गठबंधन I.N.D.I.A की मीटिंग के बाद कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे ने कहा, “संसद सुरक्षा उल्लंघन की घटना पर केंद्रीय मंत्री अमित शाह के बयान की विपक्ष की मांग पर हंगामे के बाद 141 सांसदों के निलंबन के खिलाफ 22 दिसंबर को देशव्यापी विरोध प्रदर्शन किया जाएगा। हमने कई निर्णय लिए हैं, जिनमें से एक निलंबित सांसदों पर है। हम इसके खिलाफ लड़ेंगे, यह गलत है। हम इसके खिलाफ लड़ने के लिए एकजुट हुए हैं। हमने सांसदों के निलंबन के खिलाफ 22 दिसंबर को अखिल भारतीय विरोध प्रदर्शन करने का फैसला किया है।” उन्होंने आगे कहा कि हमारी चौथी बैठक में 28 पार्टियों ने हिस्सा लिया और गठबंधन की कमेटी के सामने अपने विचार रखे।
खरगे ने कहा, “हमने एक प्रस्ताव पारित किया है कि निलंबन अलोकतांत्रिक है। लोकतंत्र को बचाने के लिए हम सभी को लड़ना होगा और हम सभी ऐसा करने के लिए तैयार हैं। हमने संसद में सुरक्षा उल्लंघन का मुद्दा उठाया। हम लंबे समय से कह रहे हैं कि केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह या प्रधानमंत्री मोदी को संसद में आना चाहिए और संसद सुरक्षा उल्लंघन के मुद्दे पर लोकसभा और राज्यसभा में बोलना चाहिए, लेकिन वे ऐसा करने से इनकार कर रहे हैं।”
Discover more from Voice Of Bihar
Subscribe to get the latest posts sent to your email.