भागलपुर में एनआईए की टीम की छापेमारी, आतंकी कनेक्शन की जांच, अलग-अलग जगहों पर पूछताछ

IMG 1110IMG 1110

Screenshot

बिहार के भागलपुर में एनआईए की रेड पड़ी है। बताया जा रहा है कि आतंकी कनेक्शन के शक में एनआईए की रेड हुई है। भागलपुर में एनआईए की छापेमारी से हड़कंप मच गया है। एनआईए की टीम ने भीखनपुर निवासी नजरे सद्दाम के देश विरोधी ताकतों से संबंधों की आशंका के चलते यह कार्रवाई की। बुधवार को दिल्ली और पटना से आई एनआईए टीम ने इशाकचक थाना क्षेत्र के भीखनपुर स्थित उसके घर पर छापा मारा। इस दौरान बड़ी मस्जिद लेन स्थित घर में नजरे सद्दाम के पिता मुहम्मद मसिउज्जमा सहित परिवार के अन्य सदस्य मौजूद थे, जिनसे टीम ने अलग-अलग पूछताछ की।
जाली नोटों के अवैध कारोबार का मिला दस्तावेज
तलाशी के दौरान टीम को जाली नोटों के अवैध कारोबार से जुड़े दस्तावेज और विस्फोटकों से संबंधित जानकारी मिली। एनआईए को इस मामले में पाकिस्तानी एजेंटों और कश्मीर में सक्रिय देशविरोधी संगठनों से नजरे सद्दाम के संबंधों के पुख्ता सबूत मिले हैं, जिसके बाद यह छापेमारी की गई। हालांकि, एनआईए अधिकारियों ने इस संबंध में फिलहाल कोई आधिकारिक बयान नहीं दिया है। मोतिहारी पुलिस ने 5 सितंबर 2024 को एसपी कांतेश कुमार मिश्रा की निगरानी में नजरे सद्दाम समेत तीन तस्करों को जाली नोटों के साथ गिरफ्तार किया था। इनके पास से 500 रुपये के 300 जाली नोट बरामद हुए थे, जिनकी कुल कीमत 1.95 लाख रुपये थी। नजरे सद्दाम की सूचना पर कश्मीर के अनंतनाग में मुहम्मद सरफराज को भी गिरफ्तार किया गया था। जिसके आतंकी संगठनों से संबंधों के प्रमाण मिले हैं। इस गिरोह में भोजपुर और पटना के अन्य तस्कर भी शामिल थे।
दिल्ली होते हुए कश्मीर तक करता था जाली नोटों की सप्लाई
शिक्षक का पुत्र और सॉफ्टवेयर इंजीनियर नजरे सद्दाम 2024 में मार्च और जून के दौरान बॉर्डर पार कर जाली नोटों की खेप दिल्ली होते हुए कश्मीर पहुंचा चुका था। उस दौरान भी एजेंसियां उस पर नजर रख रही थीं। नजरे सद्दाम के जाली नोटों का नेटवर्क नेपाल के भोरे गांव से जुड़ा था। वहां दो स्थानीय तस्करों की मदद से उसकी मुलाकात पाकिस्तानी एजेंटों से कराई जाती थी। वह उन्हीं की सहायता से जाली नोटों की खेप बॉर्डर पार कराता था। भेलाही के पास उसे जाली नोटों की डिलीवरी मिलती थी।
कश्मीर के आतंकी संगठनों से भी संबंध
नजरे सद्दाम पाकिस्तानी और नेपाली एजेंटों से मिले जाली नोटों को कश्मीर के अनंतनाग पहुंचाता था। वहां उसकी मुलाकात देशविरोधी संगठनों के नेताओं और अपराधियों से हुई, जिससे उसके गहरे संबंध बन गए।
आतंकी गतिविधियों के लिए करता था जाली नोटों की आपूर्ति
नजरे सद्दाम नेपाल के भोरे गांव से संतोष सहनी से जाली नोट लेकर अनंतनाग में सरफराज को डिलीवरी करता था। उसने इस काम में अपने कई दोस्तों को भी शामिल कर रखा था। सरफराज इन नोटों का उपयोग कश्मीर में उग्रवादी गतिविधियों के लिए करता था। एनआईए इससे पहले नजरे सद्दाम के दोस्त वर्क मुमताज से भी आतंकी गतिविधियों के संचालन को लेकर कई अहम जानकारियां ले चुकी है।
मोहल्ले में मची खलबली
बुधवार सुबह भीखनपुर बड़ी मस्जिद लेन में छापेमारी को लेकर इलाके में अफरा-तफरी मच गई। लोग घरों की छतों से तमाम अटकलें लगाते रहे। भागलपुर एसएसपी हृदय कांत ने इशाकचक थानाध्यक्ष को पुलिस टीम के साथ छापेमारी में सहयोग करने का निर्देश दिया था। एक बस भरकर पुलिस जवानों के अलावा स्थानीय पुलिस की तीन गाड़ियां भी इस रेड में शामिल थीं। सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए कड़े इंतजाम किए गए थे, ताकि किसी अप्रिय घटना को रोका जा सके।

whatsapp