एयर इंडिया की पायलट कैप्टन जोया अग्रवाल ने मुंबई के धारावी में रहने वाली एक लड़की का पायलट बनने का सपना पूरा करने में मदद की। जोया अग्रवाल ने मीडिया से बातचीत में कहा कि ये तो बस शुरुआत है, मैं इसे हर उस लड़की के लिए एक सपने से हकीकत में बदलना चाहती हूं जिसके अंदर आग है। उन्होंने कहा कि हम अपनी लड़कियों को सिर्फ इसलिए हतोत्साहित नहीं होने दे सकते क्योंकि उनके पास संसाधनों की कमी है। मेरा लक्ष्य 75 साल की उम्र में पीएम मोदी के चमकते भारत के सपने में योगदान देना है।
धारावी की लड़की ने कहा कि मेरी मां चाहती थीं कि मैं इंजीनियरिंग करूं, लेकिन मुझे एहसास हुआ कि मैं पायलट बनना चाहती हूं। लेकिन हमारे पास पैसे जुटाने के संसाधन नहीं थे। भले ही मैंने फ़्लाइट स्कूल प्रवेश परीक्षा उत्तीर्ण कर ली, लेकिन मेरी वित्तीय स्थिति के कारण मुझे अस्वीकार कर दिया गया। जब से जोया अग्रवाल को प्रधानमंत्री मोदी से भारत की बेटी का पुरस्कार मिला, मुझे लगा कि वह मेरी मदद करेंगी।
आजकल कहते हैं कि अगर ठान लो तो कुछ भी संभव है। अगर आप कोशिश करेंगे और मौका मिलेगा तो कोई न कोई आपको आपकी मंजिल तक जरूर पहुंचाएगा। और बिल्कुल वैसा ही हुआ। महिला पायलट और भारत की बेटी के रूप में जानी जाने वाली कैप्टन जोया अग्रवाल ने लड़की को पायलट बनने के सपने को पूरा करने में मदद की। महाराष्ट्र के धारावी की झुग्गी बस्ती की एक लड़की ने अपने संघर्ष और कैप्टन जोया अग्रवाल की मदद की कहानी खुद बताई।
नुदरत कहती हैं कि जब मुझे रुपयों की वजह से एडमिशन में नहीं मिला तो मैंने जोया अग्रवाल मैम से सोशल मीडिया के ज़रिये कांटेक्ट करने की कोशिश करनी शुरू कर दी। लगातार कोशिश के बाद मुझे जोया मैम का रिप्लाई आया, फिर फोन पर बात हुई। वीडियो कॉल से बात हुई। इसके बाद जोया मैम ने मुझसे मिलने के फैसला किया। वह आज धारावी में मेरे घर आईं और कहा है कि वह पढ़ाई में मदद करेंगी, जिससे मैं पायलट बन सकूँ।