पूर्णिया। आचार संहिता उल्लंघन के 15 साल पुराने एक मामले में सांसद राजेश रंजन उर्फ पप्पू यादव समेत उनकी पत्नी रंजीत रंजन एवं संतोष यादव को कोर्ट ने साक्ष्य के अभाव में बरी कर दिया। गुरुवार को यह फैसला एमपी-एमएलए कोर्ट ने सुनाया। सांसद की ओर से अधिवक्ता मुरारी चौबे एवं ब्रज किशोर सिंह ने बताया कि इस मुकदमे में अभियोजन पक्ष की ओर से एक गवाह प्रस्तुत किया गया था। साक्ष्य के आभाव में कोर्ट ने तीनों आरोपियों को बरी करते हुए मुकदमे का निपटारा कर दिया।
उन्होंने बताया कि 08 मार्च 2009 को पूर्णिया के तत्कालीन एसडीओ सह डीसीएलआर संजय उपाध्याय ने केहाट थाने में आचार संहिता उल्लंघन की प्राथमिकी दर्ज करायी थी। उसमें उल्लेख किया गया था कि 07 मार्च 2009 को कटिहार से पूर्णिया आने पर राजेश रंजन उर्फ पप्पू यादव के नागरिक अभिनंदन के लिए रंगभूमि मैदान को बैनर, पोस्टर एवं तोरणद्वार से सजाया गया था। साथ ही जुलूस भी निकाला गया। इससे आदर्श आचार संहिता का उल्लंघन हुआ। पुलिस ने इस मामले में सांसद समेत रंजीत रंजन एवं संतोष यादव के खिलाफ कोर्ट में चार्जशीट दाखिल की। गुरुवार को सांसद राजेश रंजन उर्फ पप्पू यादव समेत उनकी पत्नी रंजीत रंजन भी कोर्ट फैसला सुनने पहुंची थी।