फर्स्ट ज्वाइनिंग से पहले सड़क हादसे में काल के गाल में समाने वाले IPS अधिकारी हर्षवर्धन पंचतत्व में विलीन हो गये। इससे पहले सहरसा के काशनगर थाना क्षेत्र के पड़रिया फतेहपुर गांव के रहने वाले IPS अधिकारी हर्षवर्धन कुमार सिंह का पार्थिव शरीर गांव लाया गया, जहां मध्य विद्यालय फतेहपुर के पास जिला पुलिस बल द्वारा IPS अधिकारी हर्षवर्धन कुमार सिंह को गार्ड ऑफ़ ऑनर दिया गया।
पंचतत्व में विलीन हुए IPS हर्षवर्धन
इसके बाद कोसी रेंज के डीआईजी मनोज कुमार और सहरसा-सुपौल एसपी सहित कई जिले के अधिकारियों ने भी नम आंखों से उन्हें अंतिम विदाई दी। इसके साथ ही परिवार और ग्रामीणों ने बारी-बारी से पुष्प अर्पित कर श्रद्धांजलि दी।
नम आंखों से लोगों ने दी अंतिम विदाई
वहीं, मृत IPS अधिकारी के छोटे भाई आनंद वर्धन ने मुखाग्नि दी। इस दौरान हर किसी की आंखें नम थी। वहीं, मृत IPS अधिकारी के चाचा भूषण सिंह ने IPS अधिकारी हर्षवर्धन के मौत पर सवाल खड़ा किया है। उन्होंने कहा की गाड़ी में इतना हवा देने का क्या मतलब था या गाड़ी पुराना दिया गया था या फिर उनके पीछे कोई साजिश रची गई थी। उन्होंने आईपीएस अधिकारी हर्षवर्धन की मौत मामले की सरकार से जांच की मांग की है।
गौरतलब है कि ये हादसा कर्नाटक के हिसाल में हुआ था, जहां वह अपनी पहली पोस्टिंग पर योगदान देने जा रहे थे। जानकारी के मुताबिक हर्षवर्धन सिंह मैसूर में प्रशिक्षण पूरा करने के बाद कर्नाटक के हिसाल में अपर पुलिस अधीक्षक (एएसपी) के पद पर तैनाती के लिए जा रहे थे लेकिन गंतव्य से महज 10 किलोमीटर पहले ही उनकी कार का टायर फटने से वाहन दुर्घटना का शिकार हो गया और हादसे में उनकी मौके पर ही मौत हो गई।
हर्षवर्धन के पिता अखिलेश सिंह SDM हैं, जो मध्य प्रदेश में कार्यरत हैं। हर्षवर्धन की मौत की खबर मिलते ही फतेहपुर पडरिया गांव और उनके रिश्तेदारों में शोक की लहर दौड़ गई। गांव के लोग उनके सरल स्वभाव और कड़ी मेहनत की प्रशंसा कर रहे हैं।