67वीं BPSC परीक्षा में हाजीपुर की प्रज्ञा को मिली कामयाबी; DPO बन स्कूलों की सुधारेगी दशा

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67 वां BPSC परीक्षा परिणाम घोषित होते ही लोगों की खुशी की लहर दौड़ पड़ी है। हाजीपुर की प्रज्ञा ने BPSC परीक्षा क्वालिफाइड कर शिक्षा विभाग में डीपीओ बनी है। जबकि प्रज्ञा के माता-पिता हाजीपुर के ही दो अलग-अलग सरकारी विद्यालय में बतौर हेड मास्टर के पद पर कार्यरत है। प्रज्ञा के दादा ने हेड मास्टर के पद से पिछले वर्ष 2005 में सेवानिवृत हुए हैं। प्रज्ञा के समस्तीपुर जिले के शाहपुर पटोरी अंतर्गत धमौन गांव के रहने वाली थी। लेकिन फ़िलहाल पूरे परिवार हाजीपुर वार्ड संख्या 5 में ही मकान बना कर रहते हैं।

प्रज्ञा ने बताया कि उसकी शुरुआती पढ़ाई वनस्थली विद्यापीठ जयपुर से शुरु हुईं थी। उन्होनें कहा की पढ़ाई पूरी करने में माता पिता का पूरा साथ मिला है। जिसको लेकर पहले अपने माता पिता को बधाई दूंगी। प्रज्ञा ने बताया कि मेरे माता पिता ने मेरी पढ़ाई को लेकर कभी भी भेदभाव नहीं किया है बेटा बेटी को एक समान सुविधाएं दी है।

इस संबंध में मां चंचल कुमारी ने कही कि, मेरी बेटी मेहनत कर रही थी और वे पढ़ाई को लेकर हमेशा डिप्रेशन में रहती थी। उन्होनें कहा की दो बेटी में यह बड़ी है। दो छोटे बच्चे हैं उसको भी बेहतर शिक्षा दिलवा रहे हैं। इससे उन दोनों को भी प्रेरणा मिलेगा और वो दोनों की कामयाब होंगे।

प्रज्ञा के पिता ने कहा कि मेरी बेटी ने मेहनत की थी जिसका प्रतिफल है। उन्होंने कहा कि जो भी बच्चे पूरी लगन के साथ पढ़ाई करेंगे उनको उसका प्रतिफल जरूर मिलेगा। उन्होंने कहा कि लड़की और लड़का का मैंने कभी भेदभाव नहीं किया था प्रज्ञा बचपन से ही मेधावी रही है। वनस्थली विद्यापीठ जयपुर में भी हमेशा टॉप रही है।

वहीं दुसरे ओर बिदुपुर के मधुरापुर गांव निवासी सतीश कुमार सिंह के पुत्र सत्यप्रकाश कुमार को BPSC परीक्षा में सफलता मिलते ही गांव में खुशी की लहर दौड़ गई है। वे BPSC परीक्षा क्वालिफाइड कर पंचायतीराज पदाधिकारी के पद पर सत्यप्रकाश कुमार का चयन हुआ है।

Rajkumar Raju: 5 years of news editing experience in VOB.